Move to Jagran APP

हाई कोर्ट: बिजली चोरी की सुनवाई का अपर सत्र न्यायाधीश विशेष अदालत को अधिकार

हाई कोर्ट ने कहा इलेक्ट्रीसिटी एक्ट में एक डीजे रैंक के जज की विशेष अदालत को बिजली चोरी मामले सुनने का अधिकार है। कोर्ट ने विशेष अदालत के आदेश की कार्यवाही को रद्द करने की मांग में दाखिल याचिका खारिज कर दी है।

By Ankur TripathiEdited By: Published: Tue, 18 Jan 2022 04:21 PM (IST)Updated: Tue, 18 Jan 2022 04:21 PM (IST)
हाई कोर्ट: बिजली चोरी की सुनवाई का अपर सत्र न्यायाधीश विशेष अदालत को अधिकार
इलेक्ट्रीसिटी एक्ट में एक डीजे रैंक के जज की विशेष अदालत को बिजली चोरी मामले सुनने का अधिकार

प्रयागराज, विधि संवाददाता। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने बिजली चोरी के आरोप में विशेष अदालत अपर सत्र न्यायाधीश गाजियाबाद द्वारा जारी सम्मन को वैध करार दिया। कहा कि यह क्षेत्राधिकार से बाहर नहीं है। विशेष कानून सामान्य कानून पर प्रभावी होगा। याचिका में यह कहते हुए चार्जशीट व सम्मन को चुनौती दी गई थी कि बिना केस कमिट हुए बिजली चोरी मामले में सीधे सुनवाई करने का अधिकार नहीं है।

loksabha election banner

आदेश की कार्यवाही को रद्द करने की मांग में दाखिल याचिका खारिज

हाई कोर्ट ने कहा इलेक्ट्रीसिटी एक्ट में एक डीजे रैंक के जज की विशेष अदालत को बिजली चोरी मामले सुनने का अधिकार है। कोर्ट ने विशेष अदालत के आदेश की कार्यवाही को रद्द करने की मांग में दाखिल याचिका खारिज कर दी है। यह आदेश न्यायमूर्ति राजीव मिश्र ने गुलफाम की याचिका पर दिया है। याचिका पर अधिवक्ता आइडी मिश्र व विपक्षी अधिवक्ता प्रांजल मेहरोत्रा ने बहस की।

विशेष अदालत ने वैध कानूनी प्रक्रिया के तहत कार्यवाही की

मामले के अनुसार जूनियर इंजीनियर उमेश कुमार गुप्ता ने थाना एंटी पावर थेफ्ट गाजियाबाद में 28 दिसंबर 2020 को बिजली चोरी के आरोप में एफआइआर दर्ज कराई, जिसमें याची पर आरोप लगाया गया कि जब टीम चेकिंग करने 26 दिसंबर 2020 को याची के प्रतिष्ठान में गयी तो विद्युत चोरी पायी गई। विवेचना के बाद कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की गई और विशेष अदालत ने संज्ञान लेते हुए सम्मन जारी किया है। याची का कहना था कि निष्पक्ष जांच नहीं की गई, उसने बिजली चोरी नहीं की है। अपर सत्र न्यायाधीश को धारा-193 सीआरपीसी के तहत केस सुनने का अधिकार नहीं है। विपक्षी का कहना था कि धारा-193 के साथ धारा-194 को देखने से स्पष्ट है कि विशेष अदालत ने वैध कानूनी प्रक्रिया के तहत कार्यवाही की है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.