भाजपा नेता लक्ष्मीशंकर ओझा की मौत के मामले में हत्या की एफआइआर Prayagraj News
पिता को मकान न खाली करने पर धमकी दी जा रही थी। एकता का यह भी दावा है कि उनके पिता के साथ कब कैसे और कहां घटना हुई थी इसके बारे में कोई कुछ नहीं बता पा रहा था।
प्रयागराज, जेएनएन। इलाहाबाद विश्वविद्यालय छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष और भाजपा नेता लक्ष्मीशंकर ओझा की मौत के मामले में आखिरकार एफआइआर दर्ज हो गई है। उनकी बेटी एकता दुबे की तहरीर पर दारागंज पुलिस ने पट्टीदार कमलाशंकर ओझा व विनायक टंडन, पवन गंगवार के खिलाफ मुकदमा कायम किया है। इन सभी पर हत्या, साक्ष्य छिपाने, धमकी व लूट के आरोप लगाए गए हैं।
दो माह पहले संदिग्ध दशा में मौत हो गई थी
सिविल लाइंस के सरदार पटेल मार्ग पर रहने वाले 66 वर्षीय लक्ष्मी शंकर ओझा की करीब दो माह पहले संदिग्ध दशा में मौत हो गई थी। ससुराल भदोही में रहने वाली एकता के मुताबिक, छह अगस्त को मोबाइल पर सूचना मिली थी कि उनके पिता स्वरूपरानी नेहरू अस्पताल में भर्ती हैं। अगले दिन वह अस्पताल पहुंची तो चाचा समेत अन्य लोग मौजूद थे। एकता का आरोप है कि मकान को लेकर उनके पिता का विवाद विनायक टंडन से है, जिसका मुकदमा भी कोर्ट में चल रहा है। विनायक ने वर्ष 2011 में उनके पिता के खिलाफ सिविल लाइंस थाने में फर्जी मुकदमा कराया था। साथ ही उनके पिता को मकान न खाली करने पर धमकी दी जा रही थी।
बेटी बोली-कब, कैसे और कहां घटना हुई थी, कोई नहीं बता रहा
एकता का यह भी दावा है कि उनके पिता के साथ कब, कैसे और कहां घटना हुई थी, इसके बारे में कोई कुछ नहीं बता पा रहा था। किसी ने चश्मा और स्कूटर की चाबी उनके घर पहुंचा दी, लेकिन स्कूटर अभी भी गायब है। 17 अगस्त को पिता की मौत के बाद जब वह उनके घर पहुंची तो आलमारी का लॉकर टूटा था और सामान बिखरा था। उसमें रखे महत्वपूर्ण कागजात, रिवाल्वर समेत कई सामान गायब थे। फिलहाल एकता ने पिता की हत्या कर लूट की आशंका जताते हुए तीन लोगों पर रिपोर्ट दर्ज कराई है। थानाध्यक्ष दारागंज आशुतोष तिवारी का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है। सच्चाई का पता लगाकर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।