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SRN Hospital में बवाल मामले में इंस्पेक्टर समेत तीन पर तो केस दर्ज, पीडि़त पक्ष की प्रयागराज पुलिस ने नहीं सुनी फरियाद

जुल्फिकार के छोटे भाई सरफराज अली ने बताया कि मां वार्ड एक में भर्ती थीं। उन्हें गुरुवार को डाक्टरों ने निगेटिव बताया और डिस्चार्ज करने को कहा लेकिन उनकी सांस का सेचुरेशन लेवल उस समय 57 था। डाक्टर जबरन बदरुन्निशां को बाहर करने पर आमादा थे।विरोध पर डाक्टर भड़क गए।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Published: Sat, 24 Apr 2021 07:50 AM (IST)Updated: Sat, 24 Apr 2021 07:50 AM (IST)
SRN Hospital में बवाल मामले में इंस्पेक्टर समेत तीन पर तो केस दर्ज, पीडि़त पक्ष की प्रयागराज पुलिस ने नहीं सुनी फरियाद
एसआरएन अस्‍पताल में बवाल मामले में इंस्‍पेक्‍टर समेत तीन पर केस दर्ज हुआ। भुक्‍तभोगी परिवार की पुलिस ने नहीं सुनी।

प्रयागराज, जेएनएन। स्वरूपरानी नेहरू अस्पताल में बुजुर्ग की महिला की हालत बिगडऩे और फिर मौत होने के बाद जो बवाल हुआ, उसमें इंस्पेक्टर जुल्फिकार अली समेत तीन के खिलाफ मुकदमा दर्ज हो गया है। अस्पताल के सीएमएस की तहरीर पर कोतवाली पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज की है, लेकिन घायल तीमारदारों की ओर से दी गई शिकायत पर पुलिस ने कोई सुनवाई नहीं की। ऐसा आरोप तीमारदार लगा रहे हैं। हालांकि इस प्रकरण में एफआइआर होने के बाद पुलिस अब निलंबित इंस्पेक्टर समेत अन्य के खिलाफ शिकंजा कसने की तैयारी शुरू कर दी है। 

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पुलिस में रिट सेल प्रभारी की मांग एसआरएन अस्‍पताल में भर्ती थीं

मूलरूप से चंदौली निवासी जुल्फिकार अली प्रयागराज के करैलाबाग में लंबे समय से परिवार सहित रह रहे हैं। वह प्रतापगढ़ पुलिस में रिट सेल प्रभारी हैं। जुल्फिकार ने मां बदरुन्निशां को कोरोना होने पर चार दिनों पहले एसआरएन में भर्ती कराया था। जुल्फिकार के छोटे भाई सरफराज अली ने बताया कि मां वार्ड एक में भर्ती थीं। उन्हें गुरुवार को डाक्टरों ने निगेटिव बताया और डिस्चार्ज करने को कहा लेकिन उनकी सांस का सेचुरेशन लेवल उस समय 57 था।

पीडि़त का आरोप कि डॉक्‍टर जबरन मरीज को बाहर निकालने लगे

डाक्टर जबरन बदरुन्निशां को बाहर करने पर आमादा थे। इसका विरोध जताया तो वहां मौजूद डाक्टर भड़क गए। डाक्टरों की हरकत का मोबाइल से वीडियो बनाना शुरू किया तो वे मारपीट करने लगे। रात करीब दो बजे डाक्टरों ने ज्यादा दुर्व्‍यवहार शुरू किया तो सरफराज ने फोन करके परिवार को बुला लिया। सूचना पाते ही जुल्फिकार अली, उनकी पत्नी सीमा परवीन, फुफेरे भाई मोहम्मद सुहैल, सरफराज की बहनें शबनम व अफसाना सहित अन्य लोग पहुंचे। विरोध जताया तो डाक्टरों ने उन सभी पर लोहे की रॉड से हमला कर दिया। कुर्सियों से मारा, जिससे पूरा परिवार गंभीर रूप से घायल हो गया। भोर में तीन बजे बदरुन्निशां की मौत भी हो गई। इसके बार शुक्रवार को दिनभर बखेड़ा होता रहा। 

आइजी ने इंस्‍पेक्‍टर को निलंबित कर विभागीय जांच का दिया आदेश

शाम को आइजी केपी सिंह ने प्रतापगढ़ में तैनात इंस्पेक्टर जुल्फिकार अली को निलंबित करने के साथ ही विभागीय जांच के आदेश दिया। साथ ही अस्पताल में पीएसी का पहरा लगा दिया गया। देर रात इंस्पेक्टर समेत तीन के विरुद्ध नामजद एफआइआर भी दर्ज कर ली गई।


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