देश की आजादी से पूर्व महामना ने उठाई थी अक्षयवट के पूजन की मांग
देश की आजादी से पूर्व महामना ने अक्षयवट के पूजन की मांग की थी। वहीं तीर्थपुरोहितों ने भी अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ जनजागरण किया था।
प्रयागराज : श्रद्धा, समर्पण व आस्था का केंद्र अक्षयवट के दर्शन-पूजन की परंपरा सदियों से रुकी है। अक्षयवट के किले में कैद होने से हिंदू धर्मावलंबियों की भावनाएं आहत हैं। हर दौर में अक्षयवट का दर्शन-पूजन आम श्रद्धालुओं के लिए सुलभ करने की मांग उठती रही है। आजादी से पहले महामना मदन मोहन मालवीय ने 1932 में fहिंदुओं के लिए अक्षयवट को खोलने एवं पूजन करने की मांग उठाई थी।
सनातन धर्म विद्वान डॉ. कृष्णानंद पांडेय बताते हैं कि महामना ने गंगा की निर्मलता की भांति, इलाहाबाद का नाम बदलने एवं अक्षयवट को किला से मुक्त करने की पुरजोर आवाज उठाई थी। वह चाहते थे कि अक्षयवट तक हर हिंदू आसानी से पहुंचकर पूजन-अर्चन करे। उन्होंने अक्षयवट का दर्शन रोकने को हिंदुओं की धार्मिक भावना को ठेस पहुंचाने की बात कहकर अंग्रेजी हुकूमत पर दबाव बनाया था। वहीं तीर्थपुरोहित पं. रमाशंकर पाठक, दयानंद व राजेश्वरानंद भारद्वाज ने भी अक्षयवट को किला से मुक्त करने की मांग उठाई थी। इसको लेकर अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ बिगुल फूंकते हुए जनजागरण अभियान भी चलाया था।
अक्षयवट का कैद होना दुर्भाग्यपूर्ण : राजेंद्र
प्रयाग धर्मसंघ के अध्यक्ष राजेंद्र पालीवाल कहते हैं कि अक्षयवट का किले में कैद होना दुर्भाग्यपूर्ण है। इसे कुंभ से पहले आम श्रद्धालुओं के लिए खोला जाए। ऐसा न हुआ तो करोड़ों श्रद्धालुओं की भावनाएं आहत होंगी।
अक्षयवट दर्शन करने का उचित समय : गोपालबाबू
श्रीकटरा रामलीला कमेटी के महामंत्री गोपालबाबू जायसवाल बताते हैं कि अक्षयवट मुगलकाल से कैद हैं। सनातन धर्मावलंबी चाहकर भी अक्षयवट का दर्शन करने से वंचित हैं। अक्षयवट को खोलने का उचित समय आ गया है।
उम्मीद है सरकार लेगी ठोस निर्णय : अभिषेक
वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक शुक्ल अक्षयवट को दर्शन-पूजन के लिए खोलने की मांग करते हैं। कहते हैं कि सरकार जन भावनाओं का ख्याल रखकर अक्षयवट को लोगों के दर्शन के लिए खोले। उम्मीद है सरकार उस दिशा में ठोस निर्णय लेगी।
सबको मिले दर्शन का अधिकार : डॉ. शैलेश
भाजपा नेता डॉ. शैलेश पांडेय कहते हैं कि कुंभ से पहले अक्षयवट को खोला जाना चाहिए। उम्मीद है कि सरकार जिस तरह कुंभ को लेकर संजीदा है, उसी तरह उचित समय पर जनभावनाओं के अनुरूप अक्षयवट खोलने का भी निर्णय लेगी।