सलाह हेल्थ एक्सपर्ट की, दिखते हैं कोरोना इंफेक्शन के लक्षण तो तीन दिन के भीतर करा लेना चाहिए टेस्ट
स्वरूपरानी नेहरू चिकित्सालय के वरिष्ठ फिजीशियन डा. मनोज माथुर का। दैनिक जागरण से हुई विशेष बातचीत में उन्होंने कहा कि लक्षण दिखें तो सबसे पहले आइसोलेट हो जाएं। खुद अलग कमरे में रखें। खिड़कियां खुली हों रोशनदान हो। परिवार में दूरी बनाकर रहें। मास्क लगाएं। हाथ को सेनिटाइज करते रहें।
प्रयागराज, जेएनएन। कोरोना जानलेवा है। इसके कदम तेजी से बढ़ रहे हैं और हम इसे रोकने में सक्षम व समर्थ होते हुए भी ठिठके हैं। जबकि इसे बड़ी चुनौती मानते हुए आगे बढ़कर लोहा लेना पड़ेगा। करना सिर्फ यह है कि बुखार हो, खांसी, सीने में कफ जम जाए, बदन दर्द, सिरदर्द, या दस्त ही होने लगे तो इसे कोरोना के प्रारंभिक लक्षण मानकर सतर्क होना होगा। तीन से पांच दिन तक ऐसे लक्षण बने रहें तो खुद को कोरोना पॉजिटिव मानकर इलाज शुरू करा दें।
एसआरएन के वरिष्ठ फिजीशियन डा. मनोज माथुर ने किया आगाह
यह कहना है स्वरूपरानी नेहरू चिकित्सालय के वरिष्ठ फिजीशियन डा. मनोज माथुर का। दैनिक जागरण से हुई विशेष बातचीत में उन्होंने कहा कि लक्षण दिखें तो सबसे पहले आइसोलेट हो जाएं। खुद को अलग कमरे में रखें। खिड़कियां खुली हों, रोशनदान हो। परिवार में दूरी बनाकर रहें। मास्क लगाएं। समय-समय पर हाथ को सेनिटाइज करते रहें। खाने में तरल पदार्थ जैसे नारियल पानी, नीबू की शिकंजी, दाल का पानी, दलिया, खिचड़ी खाएं, घी तेल चिकनाई की चीजों का इस्तेमाल कम करें। दूध दही का इस्तेमाल करें। आइसोलेशन में 10 दिन के बाद रिपोर्ट निगेटिव होने की संभावना ज्यादा रहती है। उसके बाद भी एक सप्ताह तक आइसोलेट रहें।
गंभीर न करें बीमारी
डा. माथुर ने कहा कि अस्पताल में सीरियस मरीज आ रहे हैं। कारण है कि लोग देर से भर्ती हो रहे हैं। कोविड टेस्ट कराने में देरी करने व रिपोर्ट का इंतजार करते भटकते रहने से बीमारी गंभीर हो जाती है।
निगेटिव हुए और सांस में समस्या तो यह करें
जो मरीज निगेटिव हो जा रहे हैं लेकिन उन्हें सांस लेने में समस्या है तो उन्हें पोस्ट कोविड अस्पताल में भर्ती होना होगा। यह एसआरएन में भी हैं काल्विन अस्पताल व कमला नेहरू मेमोरियल ट्रस्ट के अस्पताल में भी भर्ती हो सकते हैं। निगेटिव होने का प्रमाण पत्र एसआरएन देता है उसे दूसरे अस्पताल भी मानते हैं।
ऑक्सीजन लेवल कम तो लेटें पेट के बल
किसी कोविड मरीज का सांस का लेवल कम हो रहा है तो उसे पेट के बल लेटना चाहिए। कम से कम आधे या पौन घंटे तक लेटे रहें। उठ कर बैठें तो गहरी सांस लें। इससे सांस का लेवल ठीक हो जाता है।
दवा लें और पौष्टिक आहार खाएं
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कोविड मरीजों के लिए दवाओं के नाम घोषित किए हैं। उन्हें किसी डाक्टर की सलाह लेकर लिया जा सकता है।
मास्क, सेनिटाइजेशन व दो गज जरूरी
सबसे ज्यादा जरूरी है कि मास्क लगाएं, हाथ को समय-समय पर सेनिटाइज करते रहें व परिवार से तथा अन्य लोगों से भी दूरी बनाकर रखें।
मौसमी फल खाएं, खुली चीजों से परहेज करें
मौसमी फल खाएं, खुली हुई चीजें न खाएं, तरबूज, संतरा, खीरा, नीबू और आंवले का सेवन जरूर करें।
गंभीर होने से पहले पहचानना जरूरी
घर में पल्स ऑक्सीमीटर रखें, थर्मामीटर भी हो। इससे तीन से चार बार सांस का लेवल नापें, यदि लेवल 90 से कम आ रहा है तो गंभीरता बरतें और किसी अस्पताल में भर्ती हो जाएं।