Chaitra Navratri : जेल में श्रद्धा की अनूठी मिसाल, 1600 बंदियों ने रखा व्रत Aligarh news
जब एक साल से अपनों से भी मुलाकात ना हो पाए ऐसे समय में तनाव और चिढ़चिढ़ापन आना स्वाभाविक है। लेकिन जिला कारागार ने बंदियों ने आपदा को भी खुशियों में बदलकर श्रद्धा की अनूठी मिसाल पेश की है। जेल में नवरात्र के पहले दिन 1600 बंदियों ने व्रत रखा।
अलीगढ़, जेएनएन । जब एक साल से अपनों से भी मुलाकात ना हो पाए, ऐसे समय में तनाव और चिढ़चिढ़ापन आना स्वाभाविक है। लेकिन, जिला कारागार ने बंदियों ने आपदा को भी खुशियों में बदलकर श्रद्धा की अनूठी मिसाल पेश की है। जेल में नवरात्र के पहले ही दिन 1600 बंदियों ने व्रत रखा। सुबह पूजा अर्चना की, वहीं रात में आरती करने के बाद व्रत खोला। इनमें कुछ मुस्लिम बंदी भी शामिल थे।
अपने-अपने धर्मों के हिसाब में बंदी कर रहे पूजा-पाठ
अलीगढ़ की जेल अंग्रेजों के जमाने की है, लेकिन सुविधाओं के मामले में इसका नाम प्रदेश की चुनिदां जेलों में शुमार हैं। यहां के बंदियों ने न सिर्फ कलात्मक कार्यों में अपना नाम चमकाया है, बल्कि कोरोना काल में भी योद्धा बनकर अन्य बंदियों को प्रेरित किया। जेल में अब रमजान व नवरात्र को लेकर बंदियों के बीच खासा उत्साह देखा जा रहा है। अपने-अपने धर्मों के हिसाब में बंदी पूजा-पाठ कर रहे हैं। इस बार नवरात्र के पहले ही 1600 बंदियों ने व्रत रखा। इनमें 18 मुस्लिम बंदियों ने भी नवरात्र का व्रत रखकर सौहार्द की मिसाल कायम की। वहीं 108 महिलाओं ने भी व्रत रखकर पूजा की है। जेलर पीके सिंह ने बताया कि जो बंदी व्रत रह रहे हैं, उनके लिए आलू, फल उपलब्ध कराए जा रहे हैं। कोरोना के दायरे में रहकर बंदी अपनी भक्ति कर रहे हैं।
540 बंदियों ने रोजा भी रखा
बुधवार से शुरू हुए रमजान को लेकर भी बंदी उत्साहित हैं। जेल में 540 बंदियों ने रोजा रखा है। इनके लिए भी जेल प्रशासन की ओर से फलाहार की व्यवस्था करवाई गई है।