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कारपोरेटराज से मुक्ति से ही मिलेगी सच्ची स्वतंत्रता Aligarh news

बेरोजगार मजदूर किसान यूनियन ने स्वतंत्रता दिवस की शुभ बेला पर जलाली नगर के बाबा दीवानदास की बगीची में झंडारोहण कर स्वतंत्रता दिवस मनाया। कार्यक्रम की शुरुआत राष्ट्रगान के बाद आज़ादी के शहीदों की याद कर आज़ादी के शहीद अमर रहें के नारों से हुई।

By Anil KushwahaEdited By: Published: Mon, 16 Aug 2021 06:13 AM (IST)Updated: Mon, 16 Aug 2021 06:14 AM (IST)
कारपोरेटराज से मुक्ति से ही मिलेगी सच्ची स्वतंत्रता Aligarh news
जलाली में राष्ट्रगान करते बेरोजगार मजदूर यूनियन के कार्यकर्ता।

अलीगढ़, जेएनएन। बेरोजगार मजदूर किसान यूनियन ने स्वतंत्रता दिवस की शुभ बेला पर जलाली नगर के बाबा दीवानदास की बगीची में झंडारोहण कर स्वतंत्रता दिवस मनाया। कार्यक्रम की शुरुआत राष्ट्रगान के बाद आज़ादी के शहीदों की याद कर 'आज़ादी के शहीद अमर रहें' के नारों से हुई। कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ सोरन सिंह बौद्ध ने की। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि बेरोजगार मजदूर किसान यूनियन के संरक्षक समन्वयक प्रोफ़ेसर अशोक प्रकाश थे।

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कोरोना से बचाव को बांटे मास्‍क

कार्यक्रम के प्रारंभ में प्रो. अशोक प्रकाश ने उपस्थित लोगों को कोरोना से बचाव की सीख देते हुए मास्क वितरण किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता दिवस हम सबके लिए खुशी का मौका होता है। शहीद भगतसिंह, अशफाक, चंद्रशेखर, ऊधम सिंह आदि शहीदों और डॉ भीमराव आंबेडकर के प्रयासों से हमें आज़ादी के पश्चात एक नए युग का अहसास हुआ। लेकिन आज देशी-विदेशी कम्पनियों द्वारा किसानों-मजदूरों की मेहनत की लूट हो रही है। इसीलिए किसान आंदोलन कर रहे हैं। अप्रत्यक्ष रूप से आज कॉरपोरेट राज कर रहा है। इसलिए स्वतंत्रता की जिस खुशी का अहसास किसानों-मजदूरों को पहले होता था, वह अपेक्षाकृत कम हुआ है।

किसानों की समस्‍या पर चर्चा

इसके पश्चात राम प्रकाश शर्मा ने आज की हालात पर विचार प्रकट करते हुए किसानों की दुर्दशा पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि किसान के लिए खाद, बीज, पानी सब इतना महंगा होता जा रहा है कि खेती करना मुश्किल हो रहा है। राजपाल सिंह ने प्रख्यात हिंदी कवि मुक्तिबोध की कविताओं के माध्यम से बेरोजगारों, मजदूरों और किसानों की एकजुटता की जरूरत को समय की मांग कहा। पवन कुमार ने कहा कि आज़ादी के शहीदों को सच्ची श्रद्धांजलि उनके सपनों को पूरा करना है। इसके लिए उन्होंने नौजवानों को संगठन से जुड़ने का आह्वान किया। मजदूर एकजुटता मंच के मुकेश कुमार ने किसानों मजदूरों की बदहाल होती स्थिति को भयावह कहा। उन्होंने बेरोजगारी को आज की सबसे बड़ी समस्या बताया।

गरीबों के सपने पूंजीवादी व्‍यवस्‍था से टूट रहे

जाहिद जाफरी ने स्वतंत्रता के दीवानों को याद करते हुए कहा कि आज उनके सपने पूँजीवादी व्यवस्था द्वारा तोड़े जा रहे हैं। अनिल कुमार ने अपने गीतों के माध्यम से समाज का यथार्थ व्यक्त किया। सभा के अंत में डॉ. सोरन सिंह बौद्ध ने आज़ादी के शहीदों को याद करते हुए उनके सपनों को पूरा करने के लिए आज़ादी और संविधान को बचाने के लिए संघर्ष जारी रखने का आह्वान किया।

यह लोग रहे उपस्‍थित

सभा में राकेश कुमार, सुरेशपाल सिंह, रामजीलाल, मुकेश कुमार, नरेश, राजीव, गौरव, मयंक, रविकांत, मानसिंह, सुभाषचंद्र शर्मा,कालीचरण, होतीलाल, नाज़िब अली, नेत्रपाल सिंह, सुरेश चंद्र,बसंत लाल, मिहीलाल, हरिओम कुमार,  विजयपाल सिंह, हेमंत कुमार, अजित आनंद प्रताप, रोहित, दीक्षा, शिवानी, वर्षा रानी, कोमल, अर्जुन, करन, सुंदर आदि विशिष्ट लोग उपस्थित थे।


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