Bureaucracy Dominates In Aligarh: सीएम के संज्ञान के बाद भी छिपी है टप्पल जमीन फर्जीवाड़े की फाइल
सीएम योगी आदित्यनाथ के संज्ञान के बाद भी टप्पल ग्राम पंचायत जमीन फर्जीवाड़े की फाइल सुस्त रफ्तार के भंवर में फंस गई है। प्रशासन को यहां की कुल 1210 बीघा जमीन पर कब्जा लेना था लेकिन अब तक यह कार्रवाई नहीं हो सकी है।
अलीगढ़, जागरण संवाददाता। सीएम योगी आदित्यनाथ के संज्ञान के बाद भी टप्पल ग्राम पंचायत जमीन फर्जीवाड़े की फाइल सुस्त रफ्तार के भंवर में फंस गई है। प्रशासन को यहां की कुल 1210 बीघा जमीन पर कब्जा लेना था, लेकिन अब तक यह कार्रवाई नहीं हो सकी है। तत्कालीन एसडीएम अंजनी कुमार सिंह के तबादले के बाद यह मामला ठंडा वस्ते में चल गया है। हालांकि, कुछ किसानों ने इसके पट्टा बहाली के लिए भी एसडीएम कोर्ट में आवेदन कर रखा है। संबंधित अफसरों को इस पर निर्णय लेना है।
यह है मामला
खैर तहसील क्षेत्र के नोएडा की सीमा से सटे टप्पल ग्राम पंचायत में कुल 2627 हेक्टेअर रकबा है। इसमें 647 हेक्टेअर जमीन सरकारी है। वर्ष 2000 से 2002 के बीच इस पंचायत में चकबंदी की प्रक्रिया शुरू हुई थी। इसमें कुछ सरकारी जमीनों के पट्टे भी आवंटित किए गए। लोगों के विरोध पर शासन ने चकबंदी प्रक्रिया को रोक दिया। इसी दौरान कुछ लोगों ने नई खतौनी तैयार कर फर्जीवाड़ा कर दिया। पिछले दिनों कुछ स्थानीय लोगों ने डीएम से इसकी शिकायत की। इस पर एसडीएम को जांच के आदेश दिए गए। एसडीएम ने तहसील के नए व पुराने अभिलेखों की जांच की। इसमें सामने आया कि ग्राम पंचायत के सैकड़ों लोगों के पास पट्टा आवंटन का कोई रिकार्ड ही नहीं है, जबकि इन लोगों ने करीब 1210 बीघा जमीन पर कब्जा कर रखा है। खतौनी में भी इनका नाम दर्ज कर दिया गया है। राजस्व अभिलेखों में मूल रिकार्ड इससे भिन्न है। दैनिक जागरण ने इस खबर को प्रमुखता से प्रकाशित किया था। इस पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने इसका संज्ञान लेते हुए प्रशासन को इस फर्जीवाड़े में सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए। तत्कालीन एसडीएम ने जुलाई में फर्जी पट्टो के निरस्त करते हुए जमीन को बंजर में दर्ज कर दिया। इसके बाद प्रशासन को इस जमीन पर कब्जा लेना था, लेकिन अब तक यह कार्रवाई नहीं हो सकी है।
बडा लैंड बैंक
अगर प्रशासन इस जमीन पर कब्जा ले लेता है तो फिर नोएडा सीमा के निकट बड़ा सरकारी लैंड बैंक होगा। कई बड़ी सरकारी योजनाएं भी इस पर विकसित हो सकती हैं।
मामला मेरे संज्ञान में हैं। पूर्व में पट्टे निरस्त हुए थे। कुछ लोगों ने इसके खिलाफ आवेदन किया है। इनकी सुनवाई की जा रही है। जल्द ही निर्णय लेकर सरकारी जमीन पर कब्जा लिया जाएगा।
कुंवर बहादुर सिंह, एसडीएम खैर