बड़े भूकंप से बचाते हैं, छोटे झटके, दहशत में रही अलीगढ़ की पब्लिक
दिल्ली-एनसीआर और उसी से सटे अलीगढ़ में झटके से लोग दशहत में रहे।
अलीगढ़ जेएनएन : दो माह में कई बार भूकंप के झटके महसूस कर चुके दिल्ली-एनसीआर में दहशत बरकरार है। शुक्रवार को अलीगढ़ में भी झटके महसूस किए गए। तीव्रता कम थी, इसलिए किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ। दिल्ली-एनसीआर और उसी से सटे अलीगढ़ में झटके से लोग दशहत में रहे। शुक्रवार सुबह सुबह 6:02 बजे दिल्ली-एनसीआर व अलीगढ़ में भूकंप के झटके महसूस किए गए। उस समय अधिकांश लोग सो रहे थे। कुछ लोग स्नानादि में लगे हुए थे। झटके इतने हल्के थे कि किसी को महसूस नहीं हुए। रिएक्टर पैमाने पर तीव्रता 3.1 मापी गई है।
कम तीव्रता के भूकंप के ज्यादा दुष्परिणाम नहीं होते
कम तीव्रता के भूकंप के ज्यादा दुष्परिणाम नहीं होते लेकिन ये छह से सात तीव्रता के हुए तो नुकसानदायक हो सकते हैं। अलीगढ़ में 3.0 तीव्रता का भूकंप इस राहत को भी दर्शाता है कि लोग बड़े भूकंप से बचे रहेंगे। अलीगढ़ दिल्ली के बगल का क्षेत्र है जो जोन-4 मेें आता है। इसलिए यहां ज्यादा तीव्रता के भूकंप की संभावना भी बनी रहती है।
डॉ. वाइपी सिंह, अध्यक्ष भूगर्भ विज्ञान विभाग, डीएस कॉलेज
झटके जिला बागपत में भी आए थे
उत्तर प्रदेश के जनपद अलीगढ़ में शुक्रवार की सुबह भूकंप के झटके आए थे। तीव्रता कम होने की वजह से लोगों को ज्यादा महसूस नहीं हुए। सुबह छह बजकर दो मिनट पर झटके महसूस किए गए। ज्यादातर लोग सोए हुए थे, इसलिए लोगों को ज्यादा जानकारी नहीं हुई। बताते हैं यह झटके जिला बागपत में भी आए थे। अलीगढ़ और बागपत की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3 रही है। तीव्रता कम होने की वजह से लोगों को जानकारी नहीं हो पाई।
एनसीआर में भूकंप का सिलसिला जारी
भूकंप का सिलसिला लगातार जारी है। देश के अलग-अलग हिस्सों में आ रहे भूकंप लोगों को दहशत में डाल रहे हैं. देश में दो दिन पहले तक पूर्वोत्तर भूकंप से लगातार कांपा था साथ ही अंडमान भी झटके महसूस किए गए थे। अब शुक्रवार की सुबह एक बार फिर देश के अलग-अलग हिस्सों में भूकंप आए हैं।इनमें पालघर, जम्मू-कश्मीर के साथ उत्तर प्रदेश के बागपत और अलीगढ़ में भी भूकंप आए हैं।
महाराष्ट्र के पालघर में 3.1 तीव्रता के झटके
जानकारी के मुताबिक, महाराष्ट्र के पालघर में रात 12 बजकर 26 मिनट पर भूकंप के झटके महसूस किए गए. रिक्टर पैमाने पर इन झटकों की तीव्रता 3.1 मापी गई. भूकंप का केंद्र पालघर से 5 किलोमीटर की गहराई में था।