सेंटर प्वाइंट पर मलवे ने बढ़ाई मुश्किलें
सेंटर प्वाइंट मार्केट के व्यापारी नगर निगम को यूं ही नहीं कोस रहे यहां रोड का हाल बेहाल है।
जासं, अलीगढ़ : सेंटर प्वाइंट मार्केट के व्यापारी नगर निगम को यूं ही नहीं कोस रहे, मार्केट के हालात ऐसे हैं कि दर्द उभर ही आता है। सेंटर प्वाइंट को कनाट प्लेस बनाने का जो ख्वाब निगम अधिकारियों ने व्यापारियों को दिखाया था, वो दो साल बाद भी अधूरा है। ऐसा नहीं कि काम नहीं हो रहा, हो रहा है, मगर समय सीमा की बाध्यता नहीं रखी गई। इसका असर व्यापार पर पड़ रहा है। त्योहार के मौके पर दुकान, प्रतिष्ठानों के आगे निर्माण सामग्री का मलवा पड़ा होगा तो कौन ग्राहक आएगा। हवा के साथ उड़ता धूल का गुबार किसे पसंद होगा। व्यापारियों का कहना है कि मार्केट में बदहाली के चलते ग्राहकों ने दूरियां बढ़ा ली है। हर रोज यहां लगने वाले जाम के चलते ग्राहक अन्य बाजारों की ओर रुख कर रहे हैं।
स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत सेंटर प्वाइंट चौराहे के सुंदरीकरण की योजना दो साल पहले बनाई गई थी। चौराहे पर आई लैंड, चारों मार्गों पर फुटपाथ, रैलिग, अंडरग्राउंड बिजली, लाइटिग, डिवाइड के अलावा स्मार्ट रोड का भी खाका खींचा गया। सड़कें चौड़ी करने के लिए दुकानों का अगला हिस्सा ध्वस्त करा दिया गया। व्यापारियों ने धैर्य बनाए रखा। सोचा, जो हिस्सा बचा है, उसी में व्यापार कर लेंगे। मार्केट स्मार्ट होगा तो ग्राहक भी आएंगे, व्यापार बढ़ेगा। इसी उम्मीद के सहारे व्यापारी मार्केट के स्मार्ट होने का इंतजार करते रहे, लेकिन ये इंतजार लंबा होता गया। बीते साल दीपावली पर्व के दौरान भी तोड़फोड़, निर्माण कार्य जारी रहा था। इसके चलते मार्केट ठंडा रहा, खरीदारी कम हुई। इस बार भी त्योहार पर निर्माण कार्य जारी है, जिससे कारोबार प्रभावित हो रहा है। व्यापारियों का कहना है कि त्योहार पर निर्माण कार्य से परेशानी हो रही है। ठेकेदार अपनी मनमानी करते हैं।
समिति से नहीं ली सलाह
निगम अधिकारियों ने स्थानीय व्यापारियों की सहमति पर विकास कार्य कराने का निर्णय लिया था। इसके लिए पांच सदस्यीय समिति भी बनाई गई। व्यापारी नेता शमन माहेश्वरी का कहना है कि अधिकारी समिति की सलाह लिए बिना ही कार्य करा रहे हैं।
इनका कहना है..
सेंटर प्वाइंट से निकलना दूभर हो जाता है। त्योहार के मौके पर भी ग्राहक नहीं आ रहे हैं। समय से काम पूरा हो जाता तो ये हालात न बनते।
मानस जिदल, व्यापारी..
पिछले साल भी त्योहार पर यही हालात थे। तब भी हम सभी ने आपत्ति की थी। वही स्थिति अब बन रही है।
धीरज गर्ग, व्यापारी..
सेंटर प्वाइंट पर जाने का अब मन नहीं करता। यहां तो बुरा हाल है। कुछ खरीदना होता है तो दूसरे मार्केट से ले आते हैं।
प्रदीप माहेश्वरी, बराई स्ट्रीट..
सेंटर प्वाइंट के हालात देखकर वहां जाने की हिम्मत नहीं होती। जाम में कौन फंसे। खरीदारी करने के लिए और भी मार्केट हैं।
कुलदीप चौहान, मायापुरी