Mission power : दहेज हत्या के आरोपित पति को 10 साल की कैद व जुर्माना Aligarh news
मिशन शक्ति अभियान के तहत महिला अपराधों से जुड़े मुकदमों में पुख्ता पैरवी की जा रही है। इसमें सूचीबद्ध दहेज हत्या के एक और मुकदमे में कोर्ट ने आरोपित पति को 10 साल कैद की सजा सुनाई है।
अलीगढ़, जेएनएन : मिशन शक्ति अभियान के तहत महिला अपराधों से जुड़े मुकदमों में पुख्ता पैरवी की जा रही है। इसमें सूचीबद्ध दहेज हत्या के एक और मुकदमे में कोर्ट ने आरोपित पति को 10 साल कैद की सजा सुनाई है। खास बात ये रही कि घटना के छह माह बाद पुलिस ने मामले में एफआइआर दर्ज की थी, लेकिन अभियोजन पक्ष की पैरवी ने आरोपित को सजा दिलवाने में अहम भूमिका निभाई।
छह माह बाद दर्ज हुई थी रिपोर्ट
एडीजीसी जेपी राजपूत ने बताया कि दादों क्षेत्र के रहने वाले हीरालाल ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। बताया था कि उनकी बहन कविता की शादी 16 फरवरी 2008 को कोतवाली क्षेत्र के तुर्कमान गेट निवासी राजेंद्र पुत्र वीरपाल के साथ हुई थी। आरोप है कि शादी के बाद से ही कविता को दहेज के लिए प्रताड़ित किया जाने लगा। कई बार समझाकर बहन को वापस भेजा, लेकिन प्रताड़ना बंद नहीं हुई। 31 अक्टूबर 2011 को ससुरालीजनों ने बताया कि कविता ने आत्महत्या कर ली है। मौके पर गए तो कविता की लाश पड़ी मिली थी। पुलिस ने विवेचना के बाद 21 फरवरी 2012 को पति के खिलाफ हत्या, दहेज हत्या की धारा में चार्जशीट दाखिल की। इसमें अभियोजन पक्ष की पुख्ता पैरवी के चलते एडीजे तृतीय की कोर्ट ने आरोपित पति को 10 साल की कैद की सजा सुनाई है। साथ ही चार हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। एडीजीसी ने बताया कि महिला अपराधों को प्राथमिकता के साथ निस्तारित कराया जा रहा है। न्यायालय ने इससे पहले भी मिशन शक्ति के तहत एक आरोपित को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। यह दूसरा मुकदमा है, जिसमें तेजी के साथ फैसला सुनाया गया है।