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नगर निगम के इंतजाम फेल, शहर बना ताल-तलैया

बुधवार को हुई बारिश से बिगड़े हालात नाले चोक होने से मलिन बस्तियों से लेकर पाश कालोनियों तक में भरा पानी जिदगी की रफ्तार हुई धीमी कहीं पंप नहीं चले तो कहीं पर डीजल हुआ खत्म जलभराव होने से कई जगह धंसी रोड

By JagranEdited By: Published: Wed, 28 Jul 2021 11:41 PM (IST)Updated: Wed, 28 Jul 2021 11:41 PM (IST)
नगर निगम के इंतजाम फेल, शहर बना ताल-तलैया
नगर निगम के इंतजाम फेल, शहर बना ताल-तलैया

आगरा, जागरण संवाददाता । दक्षिण-पश्चिम मानसून रफ्तार पकड़ चुका है। बुधवार को दिनभर हुई बारिश से नगर निगम के इंतजाम फेल हो गए। कुल सौ वार्डों में से 70 में जलभराव हुआ। मलिन बस्तियों से लेकर पाश कालोनियों तक में पानी भरने से लाखों लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। नाला सफाई में जिस तरीके से लापरवाही बरती गई है, उसे लेकर नगर निगम प्रशासन का सच से सामना हुआ। देर रात तक शहर ताल-तलैया बना रहा। इससे जिदगी की रफ्तार धीमी हो गई। जल निकासी के लिए लगाए गए कई पंप नहीं चले तो तीन पंप में डीजल खत्म हो गया। केदारनगर, शाहगंज, गढ़ी भदौरिया, मधुनगर, बालाजीपुरम और शास्त्रीपुरम क्षेत्र में रोड धंस गई। गनीमत रही कि कोई हादसा नहीं हुआ। बारिश से नाले चोक हो गए और बैक मारने लगे। इसकी मुख्य वजह नालों की तलीझाड़ सफाई न होना है।

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नहीं लगी झाड़ू, नाले में बह गया 500 टन कूड़ा : बुधवार को सुबह साढ़े सात बजे से बारिश शुरू हुई जो शाम तक जारी रही। इसके चलते शहर के अधिकांश क्षेत्रों में झाड़ू नहीं लग सकी और न ही कूड़े का उठान हो सका। नालों में 500 टन कूड़ा बह गया। गुरुवार को निगम प्रशासन कूड़ा उठान का कार्य शुरू करेगा।

मेट्रो के साथ रुका स्मार्ट सिटी का कार्य : बारिश के चलते छह घंटे तक मेट्रो का कार्य बंद रहा। फतेहाबाद रोड पर पानी भरने से और भी दिक्कत हो गई। पंप लगाकर पानी की निकासी की गई। वहीं स्मार्ट सिटी के भी कार्य रुक गए। इनमें डक्ट निर्माण, नाला निर्माण, सीवर और पानी की लाइन बिछाने के कार्य शामिल हैं।

लाखों रुपये बर्बाद, सूरसदन तिराहे पर जलभराव : 30 लाख रुपये से एमजी रोड से पालीवाल पार्क तक अंडरग्राउंड नाला बनाया गया है। यहां सूरसदन तिराहा भी पड़ता है। नाले पर हुए 30 लाख रुपये बुधवार को बेकार नजर आए, जब सूरसदन तिराहे पर जलभराव हुआ।

50 हजार से अधिक घरों में भरा पानी : यमुनापार, टेढ़ी बगिया हो या फिर शास्त्रीपुरम, कमला नगर, आवास विकास कालोनी सेक्टर दो, छह, आठ, 15, 16, जयपुर हाउस सहित अन्य क्षेत्र। संबंधित क्षेत्रों के 50 हजार से अधिक घरों में पानी भर गया। इससे लोगों को अच्छाखासा नुकसान उठाना पड़ा।

हाईवे से लेकर कार्यालयों तक में भरा पानी : बुधवार को नेशनल हाईवे-19 सिकंदरा से शाहदरा तक, जयपुर हाईवे पर ग्वालियर हाईवे पर पानी भर गया। नगरायुक्त कैंप कार्यालय के सामने जलभराव होने से वाहनों की रफ्तार पर ब्रेक लग गया। वहीं नगर निगम परिसर, एडीए सहित कई अन्य कार्यालयों में भी पानी भर गया। हालांकि जलभराव से कोई नुकसान नहीं हुआ।

यह तो होना ही था : पार्षद मनोज सोनी का कहना है कि शहर के नालों की ठीक तरीके से सफाई न होने के कारण जलभराव हुआ है। काश, समय रहते नालों की ठीक से सफाई होती। पार्षद धर्मवीर सिंह का कहना है कि अगर नाले ठीक से साफ होते तो जलभराव कम होता। पार्षद रवि माथुर का कहना है कि पुराने शहर में हालत और भी खराब है। कई जगह गलियां धंस गई हैं।

तो निलंबित होंगे सभी सेनेटरी इंस्पेक्टर : एक माह पूर्व मेयर नवीन जैन ने जलभराव के लिए सभी सेनेटरी इंस्पेक्टरों को जिम्मेदार ठहराया था। बुधवार को पूरा शहर तालाब बन गया। नगर निगम में 24 इंस्पेक्टर हैं। ऐसे में इन सभी पर कार्रवाई होनी चाहिए। मेयर का कहना है कि एक घंटे में दो लाख लीटर से अधिक बारिश हुई है। ऐसे में नाले हांफ गए और कुछ क्षेत्रों में जलभराव हुआ है।

- तेज बारिश के चलते कई जगह जलभराव की शिकायतें मिली थीं। पंप लगाकर जल निकासी कराई जा रहा है।

निखिल टीकाराम, नगरायुक्त


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