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Good Morning: ताजनगरी हो या कान्हा की नगरी, हर जगह है सेहत की फिक्र

Good Morning आगरा की शहजादी मंडी सदर स्थित सरदार बल्लभ भाई पटेल उद्यान है। यहां लाकडाउन के दौरान छाया सन्नाटा अब लोगों की हंसी-ठिठोली और प्राणायाम की ध्वनियों से टूटने लगा है। सुबह से ही लोगों के आने का सिलसिला यहां शुरू हो जाता है।

By Tanu GuptaEdited By: Published: Fri, 23 Oct 2020 10:19 AM (IST)Updated: Fri, 23 Oct 2020 10:19 AM (IST)
Good Morning: ताजनगरी हो या कान्हा की नगरी, हर जगह है सेहत की फिक्र
सन्नाटे में डूबे पार्कों में भी रौनक लौटने लगी है।

आगरा, जेएनएन। नजारा एकः पार्क में एक ओर कुछ बुजुर्ग महिलाएं बैठकर योग कर रही हैं। कोविड-19 से बचाव के लिए शारीरिक दूरी व मास्क का प्रयोग करते हुए सभी स्वस्थ्य रहने की कवायद में जुटे थे, क्योंकि मानकों के अनुपालन के साथ खुद को फिट रखना भी जरूरी है।

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नजारा दोः कुछ युवा जागिंग करने में व्यस्त हैं, शारीरिक दूरी के हिसाब से आपस में दूर बरतते हुए स्वस्थ्य रहने के लिए धीरे-धीरे दौड़ लगा रहे थे। पूछने पर बताया कि कोरोना ने घर बैठाकर कुछ न हीं, कम से कम स्वास्थ्य पर ध्यान देना ही सिखा दिया।

यह नजारा आगरा की शहजादी मंडी, सदर स्थित सरदार बल्लभ भाई पटेल उद्यान है। यहां लाकडाउन के दौरान छाया सन्नाटा अब लोगों की हंसी-ठिठोली और प्राणायाम की ध्वनियों से टूटने लगा है। सुबह से ही लोगों के आने का सिलसिला यहां शुरू हो जाता है। स्थिति यह है कि अब लोग कोरोना के खौफ को पीछे छोडकर आगे बढ़ने लगे हैं। जागिंग के साथ योग और व्यायाम करने वाले की संख्या भी बढ़ने लगी है। व्यायाम कर रहे अमन औऱ नीरज का कहना था कि शुरूआती दिनों में यहां आने में थोड़़ा संकोच और खौफ जरूर था, लेकिन अब सुरक्षा मानकों को ध्यान में रखकर जिंदगी की गाड़ी पटरी पर आने लगी है। योग कर रहे बुजुर्ग बंशीलाल ने बताया कि फिट रहेंगे, तभी कोरोना से बच पाएंगे। इसलिए सिर्फ मास्क और शारीरिक दूरी ही नहीं,बल्कि फिट रहना भी जरूरी है। हेल्थ का ध्यान रखने में महिलाएं भी कहां पीछे थीं। पास ही की रहने वाली सदर निवासी हेमादेवी ने बताया कि करीब पांच-छह महीेने के लिए जागिंग पर आना छूट गया था, लेकिन अब धीरे-धीरे स्थिति सुधर रही है। कोरोना भले न गया हो, लेकिन इससे कैसे डलना है हमने सीख लिया है। इसलिए अब बाहर निकलने में कम डर लगता है।

पार्क गुलजार, कहीं योगा, कहीं वाक

कोरोना काल के 7 महीने बाद आम जनजीवन पटरी पर लौटने लगा है। सन्नाटे में डूबे पार्कों में भी रौनक लौटने लगी है। मथुरा के डेम्पियर नगर का भगत सिंह पार्क भी अब चहक उठा। सुबह कहीं वाक हो रहा तो कहीं योगा। शुक्रवार की सुबह बिल्कुल अलग थी। क्या बच्चे क्या बूढ़े।सब खुद को फिट रखने के लिए पसीना बहाते रहे। बच्चों की टोलियां काफी समय बाद दिखीं। बच्चे पार्क में फुटबॉल खेल रहे थे। बुजुर्ग अनुलोम विलोम, कपालभाति आदि योगाभ्यास करते हैं।

भरतपुर गेट निवासी लक्ष्मण प्रसाद आनंद ने बताया कि वह 20 साल से नियमित सुबह पार्क में आ रहे हैं। कोरोनाकाल में पार्क में सन्नाटा था। लेकिन अब रौनक लौट रही है। अपने साथी जोगेंदर के साथ योग कर रहे लक्ष्मण यहां खुद को फिट करने के लिए तेज कदमों से वाक भी करते रहब। राम मूरत की उम्र कोई 75 बरस है। लेकिन पार्क में वाक के दौरान उनकी फुर्ती देखने लायक होती है। राम मूरत डेम्पियर नगर के अपने साथी सुरेंद्र और गोपी कृष्ण के साथ प्रतिदिन यहां आते हैं। वह बताते हैं कि यहां वह करीब 15 साल से आ रहे हैं। इतने बड़े पार्क में पहले 8 कर्मचारी थे। कोरोना काल मे केवल एक ही कर्मचारी है। ऐसे में साफ सफाई पूरी तरह नही हो पाती।


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