निगरानी समिति ने मांगलिक कार्यक्रमों पर रखी नजर
उत्तर प्रदेश वेडिग इंडस्ट्रीज संघर्ष समिति ने गठित की टास्क फोर्स समारोहों के दौरान सामूहिक रूप से डांस न होने देने के आदेश का भी कड़ाई से पालन कराया
आगरा, जागरण संवाददाता । देवोत्थान पर शादी समारोहों पर उत्तर प्रदेश वेडिग इंडस्ट्रीज संघर्ष समिति की नजर रही। टीम के सदस्यों ने न सिर्फ कोविड-19 की रोकथाम के लिए बने नियमों के अनुपालन की पड़ताल की बल्कि व्यापारियों को कोई दिक्कत न हो, इसका भी ध्यान रखा। समारोहों के दौरान सामूहिक रूप से डांस न होने देने के आदेश का भी कड़ाई से पालन कराया।
समिति के समन्वयक व रावी इवेंट के निदेशक मनीष अग्रवाल ने बताया कि कोरोना काल में होने वाले मांगलिक कार्यक्रमों के दौरान आयोजकों ने शासन-प्रशासन द्वारा जारी निर्देशों का पालन किया। समिति की ओर से मांगलिक कार्यक्रमों पर नजर रखने और व्यापारियों की समस्याओं के समाधान के लिए टास्क फोर्स और निगरानी समिति का गठन किया गया। कोरोना संक्रमण की वजह से इस बार कार्यक्रम स्थलों पर अतिथियों का आगमन शाम पांच बजे से ही होने लगा। रात्रि लगभग साढ़े दस बजे तक अधिकांश कार्यक्रम समाप्ति की ओर थे। होटलों के कार्यक्रम भी निर्धारित समय सीमा में खत्म होते नजर आए। उन्होंने बताया कि मैरिज होम संचालक, डेकोरेटर, कैटरर्स, इवेंट मैनेजर, फोटोग्राफर, फ्लावर डेकोरेटर, म्यूजिक प्रोग्राम आर्गेनाइजर आदि ने सरकार के दिशा-निर्देशों का पालन किया। पिछले साल की तुलना इस साल काम काफी कम रहा। इसके बावजूद लंबे समय से ठंडे पड़े सहालग से जुड़े व्यापारियों ने देवोत्थान पर राहत की सांस ली। किसी भी मैरिज होम पर अधिक भीड़ नहीं रही। सभी जगह सैनिटाइजेशन की पूरी व्यवस्था रही। शारीरिक दूरी का भी पालन किया गया। प्रशासन द्वारा स्पष्ट गाइड लाइन जारी न करने से व्यापारियों और आयोजकों में असमंजस की स्थिति रही। समिति ने प्रशासन से समारोहों के संबंध में स्पष्ट गाइड लाइन जारी करने की मांग की है। समिति के रमाशंकर गोयल, संजय अग्रवाल, सियाराम पवन कुमार, आशीष बंसल, तरुण अग्रवाल, अजय गोयल, मनीष सिघल, भरत शर्मा, मोहन सैनी, संजय गोयल, संदीप उपाध्याय, सुरेश चंद शर्मा, कुलदीप पालीवाल आदि सक्रिय रहे।