आगरा की अपराध की खबरें
दिल्ली और मथुरा में नहीं मिले पूर्व ब्लाक प्रमुख के हमलावर आगरा जागरण संवाददाता। सिकंदरा
दिल्ली और मथुरा में नहीं मिले पूर्व ब्लाक प्रमुख के हमलावर
आगरा, जागरण संवाददाता। सिकंदरा के गांव अकबरा में दो दिन पहले पूर्व ब्लाक प्रमुख को गोली मार दी थी। हमलावरों के मथुरा की ओर भागने पर पुलिस की टीमें दिल्ली तक तलाश में गयीं थीं। हमलावरों को पुलिस दबिश की भनक लगने पर वहां से निकल गए। पुलिस टीमों ने अब फीरोजाबाद समेत आसपास के अन्य जिलों में डेरा डाल दिया है।
सिकंदरा के अकबरा गांव निवासी पूर्व ब्लाक प्रमुख राजवीर सिंह (55 वर्ष) जमीनों का काम करते हैं । गुरुवार की शाम को अकबरा गांव के पास सिल्वर एस्टेट कालोनी में उन पर गांव के ही रिकू और उसके दोस्त अनिकेत अग्रवाल ने ताबड़तोड़ फायरिग कर दी थी। राजवीर सिंह को तीन गोली लगने पर अस्पताल में भर्ती कराया गया। रिकू और अनिकेत की लोकेशन पहले मथुरा और फिर दिल्ली में आयी थी। इस पर पुलिस की तीन टीम वहां रवाना की गयी थीं। पुलिस को वह रिश्तेदारों और दोस्तों के यहां नहीं मिले। हमलावरों की लोकेशन पुलिस को अब फीरोजाबाद में मिली है। एएसपी सौरभ दीक्षित ने बताया कि आरोपितों की गिरफ्तारी को टीमें लगी हुई हैं। दुकान पर कब्जा करने के आरोपितों पर मुकदमे के आदेश
आगरा, जागरण संवाददाता। हरीपर्वत थाने के सामने एक दुकान पर कब्जा और मारपीट के आरोपितों के खिलाफ अदालत ने मुकदमा दर्ज करने के आदेश दिए हैं । हरीपर्वत थाना क्षेत्र में उपाध्याय मार्केट निवासी रिकी उपाध्याय पत्नी अमर उपाध्याय ने सीजेएम कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया था। रिकी का आरोप है कि 18 सितंबर की सुबह दर्जनों लोग उपाध्याय मार्केट में आए और टूटी हुई दुकान पर कब्जा करने लगे। विरोध करने पर बनारसी पान वाले अजय चौरसिया के बेटे अनूप चौरसिया और उसके लोगों ने तमंचे के बल पर बंधक बना लिया। उनसे मारपीट और हद दर्जे की अभद्रता की। इस दौरान उनकी दो तोले की चेन भी गायब हो गयी। हरीपर्वत थाने के सामने घटना के होने के बाद भी पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। उनके ससुर सैन्य अधिकारी थे । विधवा सास रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए अधिकारियों से मिलीं लेकिन कार्रवाई नहीं हुई । सीजेएम प्रीति सिंह ने पीड़िता के प्रार्थना पत्र पर हरीपर्वत थानाध्यक्ष को मुकदमा दर्ज कर विवेचना के आदेश दिए।
हत्यारोपित ससुर को नहीं मिली जमानत
आगरा, जागरण संवाददाता। बहू की हत्या के आरोपित ससुर की जमानत याचिका को अदालत ने खारिज कर दिया । खेरागढ़ निवासी मनोरमा पत्नी हरेश की शादी दो साल पहले हुई थी। पति और ससुराल वाले शादी के बाद से ही दहेज में कार मांग रहे थे। असमर्थता जताने पर सात अक्टूबर को ससुराल वालों ने मनोरमा को जलाकर मार दिया। मामले में मृतका के पिता अजमेर सिंह ने बेटी के पति और ससुर करन सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था।