CoronaVirus Vaccine: कोरोना वायरस वैक्सीन का अगर हुआ साइड इफेक्ट तो भी आगरा में टीम रहेगी तत्पर
कोविड टीके से विपरीत प्रभाव से निपटने के लिए भी स्वास्थ्य विभाग ने कसी कमर। प्रशिक्षित एमबीबीएस डॉक्टर तुरंत देंंगे प्राथमिक चिकित्सा। आगरा में 85 डॉक्टरों को बनाया गया नोडल ऑफीसर। कोविड का टीका लगवाने वालों को तीन चरणों से गुजरना होगा।
आगरा, जागरण संवाददाता। कोविड-19 टीकाकरण की तैयारी हर पहलू को देखते हुए की जा रही है। कोविड टीके के रखरखाव से लेकर उसे लगाने तक के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम हो चुके हैं। वैक्सीन का कोई दुष्प्रभाव न हो इसके लिए भी स्वास्थ्य विभाग ने कमर कस ली है।
एईएफआई की कमेटी रखेगी वैक्सीन के साइड इफैक्ट होने पर नजर
किसी भी टीके को लगाने पर अलग-अलग प्रभाव हो सकते हैं। ठीक इसी प्रकार से कोविड-19 की वैक्सीन लगाने पर भी किसी भी व्यक्ति को परेशानी हो सकती है। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग ने तैयारी पूरी कर ली है। ऐसी स्थिति से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग ने एडवर्स इंवेंट फालोइंग इम्युनाइजेशन (एईएफआई) की कमेटी का गठन किया गया है। इस कमेटी में 85 नोडल बनाए जाएंगे जो हर केंद्र पर मौजूद रहेंगे।
मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. आर. सी. पांडेय ने बताया कि वैक्सीन के लगवाने के बाद किसी भी व्यक्ति को कोई परेशानी होती है, जैसे-चक्कर आना, घबराहट होना इत्यादि तो इस स्थिति में एईएफआई कमेटी का नोडल वैक्सीनेशन सेंटर पर मौजूद होगा। वह उस स्थिति में तय मानकों के अनुरूप उस व्यक्ति को प्राथमिक उपाय देगा और इसकी रिपोर्ट आगे देगा। उन्होंने बताया कि जनपद में कोविड टीकाकरण के लिए एईएफआई कमेटी में 85 नोडल नियुक्त किए गए हैं, ये सभी एमबीबीएस डॉक्टर हैं। कोविड टीकाकरण के बाद कोई विपरीत प्रभाव दिखने पर ये मरीज को प्राथमिक उपाय देंगे। उन्होंने बताया कि यदि कोई आपात स्थिति होती है तो तुरंत ही 102 या 108 एंबुलेंस बुलाकर मरीज को अस्पताल भेजा जाएगा।
तीन चरणों में होगा कोविड का टीकाकरण
कोविड का टीका लगवाने वालों को तीन चरणों से गुजरना होगा। टीकाकरण केंद्र पर सबसे पहले प्रतीक्षा कक्ष होगा। यहां पर व्यक्ति को अपनी बारी का इंतजार करना होगा। इसके बाद टीकाकरण कक्ष में उसके टीका लगाया जाएगा। तीसरे चरण में निगरानी कक्ष में आधे घंटे तक उस व्यक्ति की निगरानी की जाएगी।
टीकाकरण केंद्र पर ये होंगी व्यवस्थाएं
प्रतीक्षा कक्ष - यहां पर हाथों को सेनेटाइज करने की व्यवस्था होगी। इंतजार करने के लिए सीटिंग एरिया होगा। जहां दो गज की दूरी का ध्यान रखा जाएगा।
टीकाकरण कक्ष- यहां पर वैक्सीन होगी, और वैक्सीन लगाने के लिए प्रशिक्षित स्टाफ व डॉक्टर मौजूद होंगे। उनके साथ एक सहायक होगा।
निगरानी कक्ष – निगरानी कक्ष में वैक्सीन लगाने के बाद व्यक्ति को आधे घंटे तक बिठाया जाएगा. यहां पर देखा जाएगा की वैक्सीन लगाने के बाद कोई परेशानी तो नहीं हो रही है।