नगर निगम का सीमा विस्तार हो या नहीं, तय करेगा अब एडीए Agra News
शासन ने मुख्य नगर एवं ग्राम नियोजक नगर एवं ग्राम नियोजन और एडीए उपाध्यक्ष से मांगी रिपोर्ट। निगम सदन ने पारित किया था प्रस्ताव 37 साल बाद सीमा विस्तार।
आगरा, जागरण संवाददाता। नगर निगम के सीमा विस्तार के प्रयास तेज हो गए हैं। सीमा विस्तार की गेंद एडीए के पाले में पहुंच गई है। शासन ने मुख्य नगर एवं ग्राम नियोजक, नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग और एडीए उपाध्यक्ष से सीमा विस्तार को लेकर राय मांगी है। यह राय एक से दो दिनों के भीतर शासन को भेज दी जाएगी। हालांकि यह महज कागजी कोरम है। क्योंकि एडीए अफसर पहले ही सहमति जता चुके हैं।
37 साल के बाद नगर निगम का सीमा विस्तार होने जा रहा है। वर्तमान में नगर निगम में सौ वार्डों हैं। कुल वोटर 12.50 लाख हैं। 30 नवंबर को नगर निगम के सदन में सीमा विस्तार का प्रस्ताव लाया गया था। सपा शासनकाल में तैयार हुए चालीस गांवों को निगम में शामिल करने का प्रस्ताव खारिज कर दिया गया था। इसके बदले दस गांवों को निगम में शामिल करने का प्रस्ताव दिया गया था। पूर्ण बहुमत के साथ यह प्रस्ताव पास कर शासन को भेज दिया गया था। निगम का सीमा क्षेत्र 141 वर्ग किमी है। प्रस्ताव के तहत सात राजस्व ग्रामों के पूरे क्षेत्र और आठ राजस्व ग्रामों के आंशिक क्षेत्र (अवधपुरी, शास्त्रीपुरम, यूपीएसआइडीए के सभी औद्योगिक क्षेत्र) के कुल 16.12 वर्ग किमी है। सीमा विस्तार के बाद क्षेत्रफल 157.12 वर्ग हो जाएगा। नए गांव शामिल होने से पांच ग्राम पंचायतों का अस्तित्व खत्म हो जाएगा। वर्तमान में जिले में 640 ग्राम पंचायतें हैं। शासन से सीमा विस्तार को मंजूरी मिलती है तो फिर 635 ग्राम पंचायतें रह जाएंगी।
15712 हेक्टेअर हो जाएगा क्षेत्रफल
वर्तमान में नगर निगम का क्षेत्रफल 14100 हेक्टेअर है। दस नए गांव शामिल होने से यह बढ़कर 15712 हेक्टेअर हो जाएगा। यह वर्तमान नगर निगम के क्षेत्रफल का 11.43 फीसद है।
अनियोजित विकास पर लगेगी लगाम
नगर निगम सीमा में नए गांव आने से अनियोजित विकास पर अंकुश लगेगा। साथ ही अवस्थापना सुविधाओं को मजबूती मिलेगी।
एडीए के नक्शे में भी आ सकते हैं गांव
नगर निगम की सीमा का विस्तार होने का फायदा एडीए को भी मिलेगा। क्योंकि एडीए इन गांवों को अपने नक्शे में शामिल कर सकता है। इसका निर्णय प्रदेश सरकार द्वारा लिया जाएगा।
नगर निगम में शामिल होंगे यह गांव
बाबरपुर मुस्तकिल, तोरा, कलाल खेडिय़ा, चमरौली, कहरई, नगला अलबतिया, दहतोरा, शास्त्रीपुरम योजना, अवधपुरी कॉलोनी, यूपीएसआइडीए के सभी औद्योगिक क्षेत्र।
शासन ने नगर निगम के सीमा विस्तार को लेकर रिपोर्ट मांगी है। जल्द यह रिपोर्ट शासन को भेज दी जाएगी।
राजेंद्र प्रसाद त्रिपाठी, सचिव एडीए