Encounter of Criminals: आगरा में 04 वर्ष में 400 से अधिक मुठभेड़ लेकिन 10 साल बाद मारा गया कोई अपराधी
Encounter of Criminals दस वर्ष बाद आगरा में पुलिस मुठभेड़ में ढेर हुए बदमाश। वर्ष 2011 में चंबल के बीहड़ में हुई मुठभेड़ में मारा गया था विष्णु परिहार। चार वर्ष में पुलिस की सौ से अधिक मुठभेड़ हुईं। हर बार पैर में ही लगी गोली।
आगरा, जागरण संवाददाता। दस वर्ष बाद पुलिस का बदमाशों पर सटीक निशाना लगा है। इस बार हुई मुठभेड़ में बदमाशों के सीने में पुलिस की गोली लग गई और उनकी मौत हो गई। दस वर्ष बाद पुलिस की मुठभेड़ में बदमाश मारे गए हैं।इससे पहले चार वर्ष में करीब सौ से अधिक पुलिस की बदमाशों से मुठभेड़ हुई हैं। मगर, हर बाद पुलिस की गोली बदमाशों के पैर में लगती रही है। इस बार लगे पुलिस के सटीक निशाने की चर्चाएं हो रही हैं। पिनाहट के करकौली गांव के रहने वाले दस्यु विष्णु परिहार का चंबल के बीहड़ में राज चलता था। वह फिरौती के लिए अपहरण करता था और चौथ वसूलता था।दस्यु पर 50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया था। वर्ष 2011 में पुलिस ने बीहड़ में उसे ढेर कर दिया। उसकी प्रेमिका को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा था। इससे पहले कमल गुर्जर और दुर्गेश टोंटा भी आगरा में पुलिस मुठभेड़ में मारा गया था। वर्ष 2010 में एत्माद्दौला के नगला रामबल निवासी गुरुआ यादव और नगला पदी निवासी विष्णुकांत गौतम ताजगंज क्षेत्र में हुई पुलिस मुठभेड़ में मारे गए थे।
पुलिस की कई मुठभेड़ों की सीबीसीआइडी जांच तक हुईं। इसके बाद पुलिस में आउट आफ टर्न प्रमोशन पर रोक लग गई। इसके बाद से पुलिस का निशाना चूकने लगा। प्रदेश में भाजपा सरकार आने के बाद वर्ष 2017 से अब तक सौ से अधिक पुलिस मुठभेड़ आगरा में हो चुकी हैं। इनमें तमाम जघन्य अपराधों को अंजाम देने वाले बदमाश गिरफ्तार हुए। मगर, पुलिस का निशाना हर बाद चूकता रहा। हर मुठभेड़ में पुलिस की जवाबी फायरिंग में बदमाश पैर में गोली लगकर घायल होते रहे।
शनिवार को कमला नगर में मणप्पुरम गोल्ड फाइनेंस कंपनी की शाखा में दिनदहाड़े 19 किलाेग्राम सोना और छह लाख रुपये लूटकर भागते बदमाशों से पुलिस की लाइव मुठभेड़ हो गई। इसमें फीरोजाबाद के मनीष पांडेय और निर्दोष मारे गए।इस बार पुलिस की गोली सीधे दोनों बदमाशों के पैर के अलावा सीने में भी लगी है।