आगरा में दूध खरीदने से पहले जांच लें, कहीं धोखा न हो जाए
मिक्स मिल्क से लेकर मिल्क केक तक में मिलावट, सिंथेटिक दूध से भी तैयार हो रहे उत्पाद
आगरा (जागरण संवाददाता): ये दो मामले उदाहरण के लिए हैं। शहर से लेकर गांव तक मिलावटी दूध और उससे बने पदार्थो की जमकर बिक्री हो रही है। लेकिन सब पर कार्रवाई नहीं हो पाती है। ऐसे में इनका सेवन सावधानी से करें। ये दूध आपकी सेहत बिगाड़ सकता है। दरअसल, सिंथेटिक दूध में डिटरजेंट आदि डालकर उसे तैयार किया जा रहा है। बीते दिनों एफएसडीए टीम ने शहर में भी छापा मारकर दूध के नमूने लिए थे। जांच में इनके फेल होने पर सात दुकानदारों पर जुर्माना लगाया। यही शाहगंज से भी दिलीप की दुकान से मिल्क केक का नमूना लिया, जो जांच में फेल हो गया। इस पर जुर्माना लगाया। सिंथेटिक दूध के कारोबार के बीच दूध से बनी सामग्री भी खाने योग्य नहीं है।
235 छापों में दुग्ध उत्पाद नमूने लिए।
19 नमूने संग्रहीत किए गए।
15 की जांच रिपोर्ट मिली।
8 नमूने लैब की जांच में फेल।
सिंथेटिक दूध में किस-किस का प्रयोग
पानी, डिटरजेंट पाउडर, नमक, हाइड्रोजन परोक्साइड, रिफाइंड, नमक, यूरिया। जब इन्हें मिलाजा जाता है तो मिश्रण पेंट की तरह गाढ़ा हो जाता है। इसके बाद ग्लूकोज, सोडियम सल्फेट आदि मिलाते हैं।
कितनी आती है लागत
एक लीटर सिंथेटिक दूध की लागत 10-12 रुपये लीटर आती है।
ऐसे करें शुद्धता की पहचान
शुद्ध
- शुद्ध दूध की बूंद किसी चिकनी सतह पर रखने से यह या तो ठहरेगी या धीरे-धीरे बहेगी।
- शुद्ध दूध में 10 मिलीमीटर की मात्रा में बराबर पानी मिलाएं। दोनों घुल जाएंगे। मिलावटी
-यह तेजी से ढलान की ओर बहेगा।
- मिलावटी दूध में पानी मिलाकर हिलाने पर झाग ज्यादा उठेगा। मिलावटी दूध के खतरे
यह पेट के रोग देता है। हृदय पर असर करता है। कैंसर और किडनी फेल होने का खतरा रहता है।
बाजार में बराबर छापेमारी की जा रही है। जहां भी संदिग्ध सामग्री मिलती है उसके नमूने लेकर उसे नष्ट कराया जा रहा है।
अजय जायसवाल, सहायक आयुक्त खाद्य