नई दिल्ली, टेक डेस्क. भारत के 43 चीनी एप्स बैन से चीन बौखलाया हुआ है। चीन ने बुधवार को 43 चीनी मोबाइल एप्स बैन का विरोध किया और भारत के इस कदम को वर्ल्ड ट्रेड आर्गेनाइजेशन (WTO) के नियमों का उल्लंघन करार दिया गया है। बता दें कि भारत ने मंगलवार को 43 एप्स पर बैन लगा दिया है। यह चौथा मौका है, जब भारत की तरफ से राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं के मद्देनजर चीनी एप्स को बैन करने का फैसला लिया गया है। चीनी एप्स बैन का सिललिसा लद्दाख सेक्टर के लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर हुए विवाद के बाद से मई 2020 से शुरू हुआ है। ऐसे में मई से लेकर अक्टूबर तक भारत की तरफ से कुल 267 चीनी एप्स को बैन कर दिया गया है।
भारत के फैसले को बताया WTO नियमों का उल्लंघन
चीनी दूतावास के प्रवक्ता Ji Rong ने भारत के 43 चीनी एप्स बैन का विरोध किया है। साथ ही इसे WTO नियमों के खिलाफ बताया है। उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद है कि भारत की तरफ से चीन समेत अन्य देशों को निष्पक्ष और गैर-भेदभावपूर्ण कारोबारी माहौल मुहैया कराया जाएगा, जिससे WTO के नियमों का उल्लंघन न हो। उन्होंने कहा कि चीन सरकार अपने देश में विदेशी कंपनियों के लिए WTO नियमों का पूर्ण पालन करती है। चीन और भारत को एक दूसरे विकास के मौके देने चाहिए न कि डर पैदा करना चाहिए। उन्होंने कहा कि भारत और चीन को द्विपक्षीय आर्थिक और ट्रेड रिलेशन को सही रास्ते पर लाने के लिए बातचीत का रास्त चुनना चाहिए।
जानिए कब-कब बैन हुए एप
चीन और भारत के बीच सीमा तनाव जारी है, जिसके चलते दोनों देशों के लाखों सैनिक बर्फीली पहाड़ियों पर पिछले सात माह से तैनात हैं। इस दौरान कई स्तर की डिप्लोमैटिक और सैन्य स्तरीय बातचीत हो चुकी है। लेकिन इसके बावजूद दोनों देश किसी नतीजे पर नही पहुंचे हैं। भारत की तरफ से 29 जून 2020 को 59 चीनी एप्स को बैन किया गया था। इसके बाद 28 जुलाई 2020 को 47 चीनी एप्स को बैन करने का निर्णय लिया गया। फिर भारत की तरफ से 2 सितंबर 2020 को 18 चीनी एप को बैन किया गया। वहीं 24 नवंबर को 43 चीनी एप्स बैन किये गये हैं।
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