'इन्फ्लेक्टर इंडिया' को लेकर राज्यपाल कलराज मिश्र से मिले संदीप चौधरी, ग्लोबल वार्मिंग जैसे महत्वपूर्ण मुद्दे पर रखी बात
ग्लोबल वार्मिंग जैसे महत्वपूर्ण मुद्दे पर कार्य कर रहे संदीप चौधरी ने राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात की। संदीप ने उन्हें इन्फ्लेक्टर इंडिया के बारे में जानकारी दी और बताया कि भारत में हर वर्ष जनरेट हो रहे 45000 करोड़ टन के कार्बन को कैसे कम किया जा सकता है।
जयपुर। ग्लोबल वार्मिंग जैसे महत्वपूर्ण मुद्दे पर कार्य कर रहे संदीप चौधरी ने राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात की। संदीप ने उन्हें 'इन्फ्लेक्टर इंडिया' के बारे में जानकारी दी और बताया कि भारत में हर वर्ष जनरेट हो रहे करोड़ों टन के कार्बन को कैसे कम किया जा सकता है। झुंझुनू निवासी संदीप चौधरी 'इन्फ्लेक्टर इंडिया' के सह-संस्थापक हैं। इंफ्लेक्टर के जरिए देश में ग्लोबल वार्मिंग कम करने की मुहिम चलाई जा रही है। यह एक सोलर हीट बैरियर है। पहले इसका इस्तेमाल एस्ट्रोनॉट्स के स्पेसशूट में किया गया था। इसके बाद इसका कॉर्मशियल इस्तेमाल शुरू हो गया। अब दुनिया के अधिकांश देश अलग-अलग तरीके से इन्फ्लेक्टर का इस्तेमाल करते हैं।
ऐसे काम करता है इन्फ्लेक्टर
संदीप चौधरी के अनुसार, 75 फीसदी सोलर हीट विंडो के जरिए आती है। इसे खिड़की पर चार तरीकों से लगाया जा सकता है। यह विंडो के जरिए अंदर आने वाली हीट को 70 से 80 फीसदी तक कम कर देता है। इससे जरूरी लाइट अंदर आती है जबकि अल्ट्रावयलेट किरणें और हीट बाहर ही रह जाती हैं। सर्दी के समय अगर इसे रिवर्स कर देते हैं तो सनलाइट को ऑब्जर्व करके इन्फ्लेक्टर रूम को गर्म रखता है। इससे कार्बन का उत्सर्जन भी नहीं होता है। उनका कहना है कि इस प्रकार से वे इन्फ्लेक्टर को बढ़ावा देकर कार्बन जनरेशन को कम करने के प्रयास में लगे हैं। एक इन्फ्लेक्टर का इस्तेमाल 25 साल तक किया जा सकता है। वे इसे भारत में बाकी देशो के मुकाबले कम दाम में उपलब्ध करवा रहे हैं।