Coronavirus: राजस्थान सरकार ने आयुर्वेद संस्थान को कोरोना से बचाव व इलाज के परीक्षण की नहीं दी मंजूरी
राजस्थान सरकार ने जयपुर स्थित एसएमएस अस्पताल में भर्ती कोरोना पीड़ितों के इलाज व अन्य लोगों के बचाव को लेकर आयुर्वेद दवाओं के परीक्षण को मंजूरी देने से इंकार कर दिया है।
जयपुर, जागरण संवाददाता। राजस्थान सरकार ने जयपुर स्थित एसएमएस अस्पताल में भर्ती कोरोना पीड़ितों के इलाज व अन्य लोगों के बचाव को लेकर आयुर्वेद दवाओं के परीक्षण को मंजूरी देने से इंकार कर दिया है। जयपुर स्थित भारत सरकार के राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान ने आयुर्वेद की दवाओं के माध्यम से कोरोना संक्रमण से बचाव एवं इलाज के लिए योजना बनाई है ।
आयुर्वेद संस्थान ने राजस्थान सरकार से जयपुर स्थित प्रदेश के सबसे बड़े एसएमएस अस्पताल में भर्ती कोरोना के मरीजों पर आयुर्वेद दवाओं के परीक्षण की अनुमति मांगी थी। इसके लिए आयुर्वेद संस्थान के निदेशक डॉ.संजीव शर्मा ने राज्य के चिकित्सा सचिव, आयुर्वेद सचिव व निदेशक को पत्र लिखा था।
आयुर्वेद संस्थान अस्पताल में भर्ती कोरोना पीड़ितों के साथ ही होम क्वारंटीन में रह रहे लोगों पर भी आयुर्वेद दवा का परीक्षण करना चाहता था, लेकिन राज्य सरकार ने इसकी अनुमति नहीं दी। डॉ.शर्मा ने बताया कि राज्य के चिकित्सा विभाग ने इंकार कर दिया हमारी योजना थी कि कोरोना के मरीजों को एलोपैथिक दवा के माध्यम से उपचार चलता रहे और हम आयुर्वेद दवा के माध्यम से भी उनका इलाज करने का प्रयास करें। आयुर्वेद संस्थान एसएमएस में शोध भी करना चाहता था।
उन्होंने बताया कि संस्थान की तरफ से फील्ड में काम कर रहे कोरोना वॉरियर्स की इम्यूनिटी मजबूत करने को लेकर विशेष काढ़ा, कैप्सूल एवं च्यवनप्राश तैयार किया गया है। करीब ढ़ाई हजार कोरोना वॉरियर्स में इन्हे वितरित भी किया गया है। उन्होंने बताया कि संस्थान में 3500 किलो च्यवनप्राश तैयार किया गया है। लोगों को घर में काढ़ा बनाने को लेकर जागरूक करने का अभियान चलाया गया है। इस अभियान के तहत लोगों को बताया जा रहा है कि वे तुलसी, दालचीनी, सौंठ व कालीमिर्च के मिश्रण का काढ़ा बनाकर कोरोना से बच सकते हैं। उधर इस बारे में राज्य सरकार की आयुर्वेद सचिव गायत्री राठौड़ से बात करने का प्रयास किया गया, लेकिन वे उपलब्ध नहीं हो सकी ।