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Alwar Case: अलवर सामूहिक दुष्कर्म केस की जांच सीबीआइ को सौंपेगी गहलोत सरकार

Alwar Case अलवर में मूक-बधिर नाबालिग से सामूहिक दुष्कर्म मामले में सवालों में घिरी गहलोत सरकार ने आखिर इसकी जांच सीबीआइ को सौंपने का निर्णय लिया है। इस संबंध में शीघ्र ही केंद्र सरकार को अनुशंसा भेजी जाएगी। घटना के आरोपित छह दिन बाद भी पकड़े नहीं जा सके हैं।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Sun, 16 Jan 2022 05:52 PM (IST)Updated: Sun, 16 Jan 2022 10:59 PM (IST)
Alwar Case: अलवर सामूहिक दुष्कर्म केस की जांच सीबीआइ को सौंपेगी गहलोत सरकार
गहलोत सरकार ने अलवर सामूहिक दुष्कर्म मामले की जांच सीबीआइ को सौंपने का लिया निर्णय । फाइल फोटो

जागरण संवाददाता, जयपुर। राजस्थान के अलवर में मूक-बधिर नाबालिग से सामूहिक दुष्कर्म मामले में सवालों में घिरी गहलोत सरकार ने आखिर इसकी जांच सीबीआइ को सौंपने का निर्णय लिया है। इस संबंध में शीघ्र ही केंद्र सरकार को अनुशंसा भेजी जाएगी। दहला देने वाली इस घटना के आरोपित छह दिन बाद भी पकड़े नहीं जा सके हैं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने रविवार शाम वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक के बाद जांच सीबीआइ को सौंपने पर सहमति जताई। इससे पहले उन्होंने कहा था कि यदि पीड़िता के परिजन किसी विशिष्ट अधिकारी, क्राइम ब्रांच, एसओजी अथवा सीबीआइ से जांच कराना चाहेंगे तो सरकार तैयार है। बाद में उन्होंने ट्वीट कर कहा कि दुष्कर्म की बात से परिवार वालों पर क्या बीतती है, इसकी चिंता किए बगैर भाजपा राजनीतिक रोटियां सेकने के लिए घिनौना प्रचार कर रही है, जो निंदनीय है।

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एसपी का यूटर्न, कहा-दुष्कर्म की आशंका से इन्कार नहीं

अलवर की पुलिस अधीक्षक तेजस्विनी गौतम ने पूर्व में दिए बयान से यूटर्न लेते हुए कहा कि दुष्कर्म की आशंका से इन्कार नहीं किया गया है। मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर दुष्कर्म की पुष्टि नहीं होने की बात कही गई थी, लेकिन वह अंतिम निष्कर्ष नहीं था। पुलिस प्रत्येक पहलू की जांच कर रही है। उन्होंने कहा कि विधि विज्ञान प्रयोगशाला (एफएसएल) में जांच के लिए नाबालिग की सलवार, खून और पेशाब भेजा गया है। रिपोर्ट मंगलवार तक आने की उम्मीद है। रविवार को सिख समाज के प्रतिनिधि आत्मा सिंह लुबाना और अन्य ने भी एसपी गौतम से मुलाकात की। एसपी ने उनसे कहा कि मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर दुष्कर्म की पुष्टि नहीं होने की बात कही गई थी। इस दौरान सिख समाज ने चेतावनी दी कि यदि चार दिन में पुलिस ने जांच कर कोई निष्कर्ष नहीं निकाला तो आंदोलन किया जाएगा।

महिला संगठनों ने बढ़ाया दबाव

आधा दर्जन महिला संगठनों की तरफ से गहलोत को पत्र लिखकर कहा कि मूक-बधिर विशेषज्ञों के सामने नाबालिग के बयान होने चाहिए। महिला संगठनों की प्रतिनिधि रेणुका पामेचा और कविता श्रीवास्तव ने कहा कि अलवर पुलिस की जांच रिपोर्ट में काफी कमी है।

धरना देगी भाजपा

भाजपा इस मामले को लेकर सरकार पर हमलावर है। वह सोमवार एवं मंगलवार को राज्य के सभी मंडलों में धरना व प्रदर्शन करेगी। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सतीश पूनिया ने प्रेस कांफ्रेंस कर कहा कि राज्य सरकार पंजाब और उप्र चुनाव में मुद्दा बनने से इस प्रकरण को बचाना चाहती है। सरकार कांग्रेस आलाकमान के इशारे पर इस मामले को दबाना चाहती है, इसलिए पहले दिन पुलिस एवं चिकित्सकों ने नाबालिग से दुष्कर्म होने की बात कही, लेकिन अब इन्कार कर रहे हैं। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के अध्यक्ष हनुमान बेनीवाल ने कहा कि राज्य में महिलाओं पर अत्याचार लगातार बढ़ रहे हैं।


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