Rajasthan Assembly Election 2023: राजस्थान भाजपा में खींचतान, सीएम की उम्मीदवारी को लेकर खेमेबंदी
Rajasthan Assembly Election 2023 राजस्थान विधानसभा चुनाव 2023 से करीब पौने दो साल पहले भाजपा में मुख्यमंत्री पद को लेकर खेमेबंदी बढ़ती जा रही है। पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के समर्थक उन्हें सीएम पद का स्वभाविक चेहरा मान रहे हैं।
जयपुर, नरेन्द्र शर्मा। राजस्थान भाजपा में आंतरिक खींचतान खत्म होने का नाम नहीं ले रही है। नेताओं की आपसी कलह और खेमेबंदी मिटाने के लिए चिंतन शिविर आयोजित कर एकजुटता का संदेश देने का प्रयास किया गया। राष्ट्रीय महामंत्री अरुण सिंह लगातार नेताओं में समन्वय कायम कराने की कोशिश में जुटे हैं, लेकिन नेताओं पर इसका कोई खास असर नहीं हुआ है। 2023 में होने वाले विधानसभा चुनाव से करीब पौने दो साल पहले मुख्यमंत्री पद को लेकर खेमेबंदी बढ़ती जा रही है। पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के समर्थक उन्हें सीएम पद का स्वभाविक चेहरा मान रहे हैं। पिछले दो माह में वसुंधरा राजे ने धार्मिक यात्रा के बहाने एक दर्जन जिलों का दौरा कर आम मतदाताओं के साथ कार्यकर्ताओं का मन टटोला है।
वसुंधरा राजे कर चुकी हैं धार्मिक यात्रा
धार्मिक यात्रा में भीड़ जुटाकर वसुंधरा राजे ने अपनी ताकत का अहसास भी करवाया है। अब प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया जिलों में जाकर खुद को सीएम फेस के रूप में प्रोजेक्ट करने में जुटे है। एक महीने में पूनिया दस जिलों में गए और वहां उनके समर्थकों ने उन्हें भावी सीएम बताया। पूनिया और उनके समर्थकों की रणनीति है कि संगठन के पदाधिकारियों के माध्यम से आलाकमान तक राज्य में जाट मुख्यमंत्री की बात पहुंचाने की है। राष्ट्रीय नेतृत्व तक यह बात पहुंचाने की कोशिश की जा रही है कि राज्य में पूनिया के रूप में पहला जाट मुख्यमंत्री बनाकर राज्य के जाट वोट बैंक को पार्टी के पक्ष में एकजुट किया जा सकता है। पूनिया दो दिन से जाट बहुल जैसलमेर,बाड़मेर जिलों के दौरे पर हैं।
सतीश पूनिया ने बनाई नई टीम
संगठन पर अपनी पकड़ मजबूत बनाने के लिहाज से सतीश पूनिया ने मंडल से लेकर जिला स्तर तक पदाधिकारियों की नई टीम बनाई है। इनमें वसुंधरा राजे, सांसद ओमप्रकाश माथुर, किरोड़ी लाल मीणा और अन्य वरिष्ठ नेताओं के समर्थकों को कोई पद नहीं दिया गया। वसुंधरा राजे और सतीश पूनिया के साथ ही केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और सांसद दीया कुमारी भी सीएम बनना चाहते हैं। दीया कुमारी के लिए चंद्रराज सिंघवी लाबिंग में जुटे हैं। दीया कुमारी राजपूत नेताओं से संपर्क साध रही हैं।
गुजरात माडल पर चुनाव लड़ेगी भाजपा
भाजपा इस बार विधानसभा चुनाव में गुजरात माडल पर चुनाव मैदान में उतरेगी। गुजरात माडल के आधार पर प्रत्येक पोलिंग बूथ तक चुनाव से पहले ही 20 मतदाता पर एक कार्यकर्ता की ड्यूटी लगाई जाएगी। प्रत्येक बूथ पर पन्ना प्रमुख नियुक्त किए जा रहे हैं। भाजपा नेताओं का मानना है कि गुजरात माडल से चुनाव में जीत की संभावना बढ़ जाती है। कार्यकर्ता मतदाताओं के निरंतर संपर्क में रहते हैं।