Rajasthan: पुलिस हिरासत में दलित युवक की मौत के मामले में विधानसभा में हंगामा
Rajasthan Assembly. सरकार के खिलाफ हंगामा करते हुए विपक्षी विधायक वेल में आ गए तो विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी के साथ उनकी तकरार हुई।
जागरण संवाददाता, जयपुर। Rajasthan Assembly. राजस्थान के सीमावर्ती जिले बाड़मेर में पुलिस हिरासत में दलित युवक जितेंद्र खटीक की मौत का मामला शुक्रवार को विधनसभा में गूंजा। भाजपा सहित अन्य विपक्षी विधायकों ने मामले की सीबीआइ से जांच कराने, फास्ट ट्रैक कोर्ट में सुनवाई कराने और मृतक के परिजनों को मुआवजा देने की मांग को लेकर सरकार को घेरा। सरकार के खिलाफ हंगामा करते हुए विपक्षी विधायक वेल में आ गए तो विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी के साथ उनकी तकरार हुई। जोशी ने विपक्षी विधायकों को अपने-अपने स्थानों पर बैठने के लिए कहा, लेकिन वे हंगामा करते रहे।
सरकार की तरफ से जवाब देते हुए संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल ने बताया कि मामले की जानकारी मिलते ही गुरुवार रात जोधपुर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक नवजोत गोगई को बाड़मेर भेजा गया था। उनकी रिपोर्ट के आधार पर देर रात पुलिस अधीक्षक शरद चौधरी और उप अधीक्षक विजय सिंह को पदस्थापन आदेश की प्रतिक्षा में (एपीओ) कर दिया गया है। थाना अधिकारी दीप सिंह को निलंबित करने के साथ ही थाने के सभी 20 पुलिसकर्मियों को लाइन हाजिर किया गया है। मृतक के पिता ताराचंद एवं भाई की रिपोर्ट पर पुलिसकर्मियों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया गया है।
उधर, मृतक के परिजन व ग्रामीण अधिकारियों की समझाइश के बावजूद जितेंद्र खटीक का पोस्टमार्टम कराने को लेकर शाम तक तैयार नहीं हुए। ये लोग परिजनों को एक करोड़ रुपये का मुआवजा और सरकारी नौकरी देने की मांग कर रहे हैं। पुलिस महानिरीक्षक ने उम्मीद जताई कि शीघ्र ही मृतक का मेडिकल से पोस्टमार्टम करा दिया जाएगा, परिजनों से बातचीत जारी है।
पुलिस अधीक्षक और उप अधीक्षक को हटाया
राज्य विधानसभा में स्थगन प्रस्ताव के माध्यम से भाजपा विधायक दल के उप नेता राजेंद्र राठौड़ व जोगेश्वर गर्ग ने मामला उठाया था। उन्होंने कहा कि मृतक के परिजनों को एक करोड़ रुपये का मुआवजा व सरकारी नौकरी दी जाए। उन्होंने कहा कि पुलिस ने चोरी के आरोप में युवक को पकड़ा और फिर थाने में प्रताड़ित किया, जिससे तबीयत बिगड़ने पर उसकी मौत हो गई। पुलिस ने उसके साथ बुरी तरह से मारपीट की। इस मामले को लेकर धारीवाल व विपक्ष के नेता गुलाब चंद कटारिया के बीच नोकझोंक हुई। अध्यक्ष डॉ. जोशी ने मामला समाप्त कराते हुए कहा कि सरकार इस मामले में अगले सप्ताह जवाब देगी।
धारीवाल ने बताया कि बिना मामला दर्ज हुए मृतक युवक को थाने में बिठाए रखने के कारण थाना अधिकारी सहित पूरे स्टाफ के खिलाफ धारा 302 में हत्या का मामला दर्ज किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार मृतक के परिजनों के जीवन यापन को लेकर मुआवजा देगी। उल्लेखनीय है कि बाड़मेर जिले के हमीरपुरा गांव निवासी जितेंद्र खटीक को पाइप चोरी के शक में पूछताछ के लिए बाड़मेर ग्रामीण थाना पुलिस हिरासत में लेकर आई थी। उस पर कोई केस दर्ज नहीं था। पूरी रात उसे पुलिस थाने में रखा और गुरुवार को उसकी मौत हो गई।