सामान लौटाने के लिए ASI मांग रहा कोरोना फीस, CM से पांच हजार कर्ज देने की अपील!
एक व्यक्ति ने छीना हुआ सामान वापस देने के लिए एएसआइ पर कोरोना फीस के रूप में 5000 रुपये देने की मांग की है। एसएसपी ने डीएसपी से मामले की जांच करने को कहा है।
जेएनएन, तरनतारन। 'आद. मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह जी, मेहरबानी करके मुझे पांच हजार का कर्ज दिया जाए, ताकि यह पैसे मैं पुलिस को देकर अपना मोबाइल और कागजात वापस ले सकूं। यह वही मोबाइल और कागजात हैं, जो दो युवकों ने मुझसे छीन लिए थे।' यह कहना है गांव देऊगढ़, थाना भोपाल, जिला जोधपुर, राजस्थान के निवासी देवी सिंह का।
नूरदी अड्डा स्थित राइस मिल में लगाए सोलर प्लाट में सात माह से देवी सिंह काम कर रहा है। देवी सिंह ने बताया कि सात मई की रात को उसके पास पैसे नहीं थे। गुरु का लंगर छकने के लिए श्री दरबार साहिब जाते समय दो युवक मिले। उन्होंने कहा कि वह घर ले जाकर खाना खिलाएंगे। नूरदी अड्डा स्थित घर में युवक देवी सिंह को साथ ले गए। वहां पर एक युवक ने देसी शराब पिला दी और उसके पर्स में से 300 रुपये नकद, दो एटीएम कार्ड, एक पैन कार्ड, एक आधार कार्ड, वोटर कार्ड के साथ मोबाइल भी छीन लिया।
देवी सिंह ने बताया कि शिकायत के बाद पुलिस चौकी टाउन के एएसआइ जैमल सिंह ने दोनों आरोपितों को काबू करके उक्त सामान बरामद कर लिया। बाद में किसी के कहने पर दोनों को छोड़ दिया। देवी सिंह ने आरोप लगाया कि जब वह अपना सामान लेने पहुंचा तो एएसआइ ने अन्य पुलिस कर्मियों के साथ मिलकर पुलिस चौकी के आंगन में नग्न करके पट्टे मारे और कहा कि सामान की वापसी लिए कोरोना फीस देनी पड़ेगी। पैसे मिलने पर ही उसका सामान और मोबाइल वापस मिल सकेगा। अब देवी सिंह ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाई है कि उसे पांच हजार रुपये बतौर कर्ज दे दिया जाए।
एएसआइ बोला, मैंने कोई कोरोना फीस नहीं मांगी
एएसआइ जैमल सिंह ने खुद को बेकसूर करार देते कहा कि मैंने किसी को न तो पट्टे मारे है और न ही कोरोना फीस के रूप में पैसे मांगे हैं। मुझे बेवजह बदनाम करने का प्रयास किया जा रहा है।
एसएसपी ने डीएसपी से मांगी रिपोर्ट
उधर, एसएसपी ध्रुव दहिया का कहना है कि देवी सिंह के मामले की जांच रिपोर्ट डीएसपी सुच्चा सिंह बल्ल से मांगी गई है। रिपोर्ट में अगर आरोप साबित हुए तो एएसआइ व अन्य मुलाजिमों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।