जो सरकार शिक्षा नहीं दे सकती उसे सत्ता में रहने का हक नही: ढींडसा
लहरागागा (संगरूर) पंजाब सरकार द्वारा लहरा के बाबा हीरा सिंह भटठल इंस्टीट्यूट बंद नहीं होने देंगे।
जेएनएन, लहरागागा (संगरूर) :
पंजाब सरकार ने लहरा के बाबा हीरा सिंह भट्ठल इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिग एंड टेक्नोलॉजी को बंद कर कॉलेज के छात्रों को अन्य कॉलेजों में शिफ्ट करने के फैसले से स्टाफ व छात्रों को भविष्य की चिता सताने लगी है। सरकार के फैसला करने का कारण संस्था के आर्थिक घाटे बताया जा रहा है।
एक तरफ सरकार शिक्षा को बढ़ाने व मेगा कैंप लगाकार युवाओं को रोजगार देने के दावे कर रही है, दूसरी तरफ अध्यापकों व शिक्षा हासिल कर बड़ी नौकरी के काबिल बनने वाले छात्रों को कॉलेज से निकालकर उन्हें अंधेरे की ओर ले जाने में लगी है। हालांकि पंजाब सरकार विभाग के मंत्री चरणजीत सिंह चन्नी व उच्च अधिकारी अपनी दलीलें देकर कॉलेज बंद होने के फैसले को सही ठहरा रहे हैं, लेकिन विभिन्न राजनीतिक पार्टियों के नेता, जत्थेबंदियों व अन्य संस्थाओं द्वारा सरकार के फैसले को शिक्षा विरोधी करार देते हुए स्टाफ व छात्रों के संघर्ष में संपूर्ण सहयोग देने का ऐलान किया गया है।
वर्ष 1995 में पंजाब सरकार द्वारा पूर्व मुख्यमंत्री राजिदर कौर भट्ठल के प्रयास से करोड़ों की लागत से कॉलेज की स्थापना की गई थी, जिसे वर्ष 2003 में स्वतंत्रा सेनानी बाबा हीरा सिंह भट्ठल इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिग एंड टेक्नोलॉजी में तब्दील कर दिया गया था। युवाओं के विदेश जाने के रूझान के कारण कॉलेज में छात्रों की संख्या कम होने लगी थी, जिसे सरकार अहम कारण मानते हुए कॉलेज को बंद करने का फैसला किया गया है। हलका विधायक व पूर्व वित्त मंत्री परमिदर सिंह ढींडसा ने कहा कि कॉलेज बंद करना सरकार की नाकामी है। सरकार को अपने फैसले पर दोबारा विचार करनी चाहिए। अकाली दल छात्रों व स्टाफ के हितों की रक्षा के लिए वचनबद्ध है। अगर राज्य सरकार युवाओं को शिक्षा नहीं दे सकती को उसे सत्ता में बने रहने का हक नहीं है। उन्होंने छात्रों व स्टाफ की हर तरह से मदद करने की बात कही।
शिव सेना हिदुस्तान की पंजाब विद्यार्थी सेना के प्रांतीय प्रधान प्रदीप वर्मा ने कहा कि विद्यार्थियों व स्टाफ से सरकार द्वारा किया गया खिलवाड़ किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, अगर सरकार व विभाग अपना घटिया रवैया त्यागकर कॉलेज को बंद करने के फैसले पर विचार न किया तो राज्य के छात्रों को साथ में लेकर राज्य स्तरीय संघर्ष शुरू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकार को चाहिए कि कॉलेज को बंद करने की बजाय ग्रांट देकर छात्रों की पढ़ाई का उच्च प्रबंध करे।
इस मौके पर उनके द्वारा विभिन्न मंत्रियों, मुख्यमंत्री के नाम कॉलेज को बंद न करने संबंधी ज्ञापन सौंपने का एलान किया।