117.52 फीट बढ़ा भाखड़ा बांध का जलस्तर
मैदानी इलाके में पड़ रही भीषण गर्मी के बाद अब हिमखंडों पर भी गर्मी का असर दिखने लगा है।
सुभाष शर्मा, भाखड़ा बांध (नंगल): मैदानी इलाके में पड़ रही भीषण गर्मी के बाद अब हिमखंडों पर भी गर्मी का असर दिखने लगा है। परिणामस्वरूप भाखड़ा बांध के विशाल कैचमेंट एरिया से बर्फ पिघलना शुरू हो गई है। इस बार भाखड़ा बांध का जलस्तर 1614.70 फीट तक बना हुआ है , जबकि पिछले साल इस दिन जलस्तर 1497.18 फीट था। बता दें कि गर्मियों में डैम में आने वाला पानी बर्फ के पिघलने से ही आता है। इस बार हिमखंडों पर बर्फ पिघलनी शुरू हो गई है जिसके चलते शनिवार को प्रात: छह बजे डैम में आने वाले पानी की आवक पिछले साल की आवक 16023 क्यूसिक की तुलना में 22845 क्यूसिक तक पहुंची हुई है। बांध में पानी की आवक में से 22566 क्यूसिक डैम के पावर प्लांटों से छोड़ कर 207.48 लाख यूनिट बिजली का उत्पादन किया गया है। पिछले साल की तुलना में इस समय 117.52 फीट जलस्तर अधिक है। उम्मीद की जा रही है कि आने वाले दिनों में पहाड़ों पर बर्फ पिघलने से डैम में पानी की आवक बढ़ने से जलस्तर में भी इजाफा हो सकता है। इन हालातों के मद्देनजर यह भी कहा जा सकता है कि गर्मियों के मौसम में इस बार भाखड़ा ब्यास प्रबंध बोर्ड के भागीदार प्रांतों पंजाब, हिमाचल, राजस्थान, हरियाणा, दिल्ली को जरूरत के अनुसार पानी व बिजली उपलब्ध होती रहेगी। इन प्रांतों की ओर से 25 मई को दर्ज आंकड़ों के अनुसार की गई पानी की मांग 14000 क्यूसिक थी, लेकिन पर्याप्त जलस्तर के कारण भागीदार प्रांतों के लिए बिजली पैदा करके बांध से 22566 क्यूसिक पानी छोड़ा गया है।
25 मई प्रात: छह बजे भाखड़ा बांध के कंट्रोल रूम में दर्ज आंकड़े
25-05-2019 25-05-2018
जल स्तर 1614.70 फीट 1497.18 फीट
पानी की आवक 22845 क्यूसिक 16023 क्यूसिक
आऊट फ्लो 22566 क्यूसिक 21070 क्यूसिक
ब्यास नदी से आवक 7236 क्यूसिक 5667 क्यूसिक
विद्युत उत्पादन 207.48 लाख यूनिट 121 लाख यूनिट