नीलम अस्पताल में प्लाज्मा थैरेपी शुरू
राजपुरा (पटियाला) जिला पटियाला में कोरोना के दिनोंदिन बढ़ रही रफ्तार को रोकने के लिए पहले प्राइवेट नीलम अस्पताल में प्लाज्मा थैरेपी से उपचार आरंभ हो चुका है।
संस, राजपुरा (पटियाला) : जिला पटियाला में कोरोना के दिनोंदिन बढ़ रही रफ्तार को रोकने के लिए पहले प्राइवेट नीलम अस्पताल में प्लाज्मा थैरेपी से उपचार आरंभ हो चुका है। नीलम अस्पताल में 16 सितंबर को इसकी शुरुआत डॉ. नीलम बंसल चिकित्सा अधीक्षक राजपुरा व उनकी समूची टीम की अगुआई में हुई। डॉ. नीलम बंसल ने बताया की जिले में कोरोना वायरस के संक्रमण से बढ़ रही मौतों और संक्रमण का दायरा लगातार बढ़ने से कोरोना संक्रमित मरीजों के लिए अच्छी खबर है। अब जिले के पहले प्राइवेट अस्पताल में प्लाज्मा थैरेपी से कोरोना संक्रमितों का उपचार होगा।
नीलम अस्पताल में इस थैरेपी के शुरू होने पर, ब्लड बैंक के इंचार्ज डॉ. वैनी अग्रवाल ने बताया कि हमने पहले से ही कोरोना पॉजिटिव मरीज से प्लाज्मा की कुछ इकाई एक्सट्रेक्ट कर ली है। जिसका इस्तेमाल विशेष रूप से स्तर-2 के बीमार लोगों के लिए किया जा सकता है। प्लाज्मा डोनेट करने की प्रक्रिया आसान है, जिसमें पहले कोविड के खिलाफ एंटीबॉडी का परीक्षण किया जाता है। यदि वे वांछित स्तर से ऊपर हैं तो प्लाज्मा निकाला जाता है जोकि सिर्फ 20 मिनट की प्रक्रिया है। किसी मरीज के शरीर से प्लाज्मा (एंटीबॉडीज) उसके ठीक होने के 14 दिन बाद ही लिया जा सकता है और उस रोगी का कोरोना टेस्ट एक बार नहीं, बल्कि दो बार किया जाएगा। इतना ही नहीं ठीक हो चुके मरीज का एलिजा टेस्ट भी किया जाएगा ताकि यह पता चल सके कि उसके शरीर में एंटीबॉडीज की मात्रा कितनी है। इसके अलावा प्लाज्मा देने वाले व्यक्ति की पूरी जांच की जाती है कि कहीं उसे कोई और बीमारी तो नहीं है।