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इबादत और पूजा का अनोखा मेल है यह मुस्लिम परिवार, बना सर्वधर्म समभाव की मिसाल

फकीर मोहम्मद पुरानी कचहरी के नजदीक गीता भवन में आयोजित होने वाली रामलीला कमेटी श्री राम परिवार से जुड़े हुए हैं। उनका परिवार भी इसमें भूमिका निभाता है।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Thu, 11 Oct 2018 05:05 PM (IST)Updated: Thu, 11 Oct 2018 06:06 PM (IST)
इबादत और पूजा का अनोखा मेल है यह मुस्लिम परिवार, बना सर्वधर्म समभाव की मिसाल
इबादत और पूजा का अनोखा मेल है यह मुस्लिम परिवार, बना सर्वधर्म समभाव की मिसाल

राजपुरा [प्रिंस तनेजा]। भले ही यह परिवार इस्लाम धर्म से संबंध रखता है, लेकिन इसकी भगवान श्री राम के प्रति अटूट आस्था है। रामायण की चौपाइयों का यह एेसा पाठ करता है कि बड़े से बड़ा विद्वान भी दंग रह जाए। परिवार सुंदरकांड व हनुमान चालीसा का वर्णन कर जालंधर की श्री रामलीला कमेटी से सम्मानित हो चुका है। इस परिवार के मुखिया फकीर मोहम्मद राजपुरा के शाम नगर कॉलोनी में रहते हैं।

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रामलीला में सेवा में जुट जाता है परिवार, बच्चे निभाते हैं मुख्य भूमिकाएं

फकीर मोहम्मद पुरानी कचहरी के नजदीक गीता भवन में आयोजित होने वाली रामलीला कमेटी श्री राम परिवार से जुड़े हुए हैं। केवल वह ही नहीं बल्कि उनका पूरा परिवार श्री रामलीला के लिए दिन रात एक कर स्टेज को सफल बनाने तक जुड़ा रहता है। इसकी एवज में फकीर मोहम्मद 15 दिनों तक अपना ठेकेदारी का कार्य बंद कर केवल श्री राम जी की आराधना में व्यस्त रहकर समाज को प्रेरित करने का कार्य कर रहे हैं।

फकीर मोहम्मद के दो पुत्र शौकत अली व अजय मोहम्मद रामलीला में अपनी सेवा तो निभाते हैं। वह  लक्ष्मण और भरत का किरदार भी निभाते हैं और अब उनकी इच्छा श्री राम का किरदार निभाने की है। फकीर मोहम्मद की पत्नी शिंदर बेगम व बेटी शकीना भी रामलीला के लिए ड्रेस व परदे नि:शुल्क बनाना अपना सौभाग्य समझती हैं। उनका पांच वर्षीय दोहता सैफी रामलीला की रिहर्सल में पहुंकर श्री राम के जयकारे लगाता है। वहीं शाम को मुस्लिम टोपी पहनकर मदरसे में अल्लाह का नाम लेकर शिक्षा कार्य में जुट जाता है।

परिवार से मिली प्रेरणा

फकीर मोहमद (53) का कहना है कि देश के बंटवारे का दर्द उनके परिजनों ने भी झेला है, लेकिन उनके पूर्वज श्री राम के प्रति पूरी आस्था रखते थे। चारों तरफ दंगे फसाद होने के बाद भी हमारे परिजन राजपुरा छोड़कर पाकिस्तान नहीं गए, क्योंकि वह हिंदू समाज में पले बड़े हुए हैं, जिससे उनकी श्रद्धा भी हिंदू धर्म की तरफ रही और वह वह छोटी सी उम्र में ही श्री रामलीला की स्टेज से जुड़ गए। उन्होंने कहा कि वह जुमे की नमाज मस्जिद में व मंगलवार को हनुमान चलीसा मंदिर में पढ़ने जरूर जाते हैं।

अयोध्या में जल्द बने श्री राम मंदिर

फकीर मोहम्मद का कहना है कि श्री राम मंदिर अयोध्या में जल्द बनना चाहिए। इसके लिए वह भगवान के साथ अल्लाह से भी फरियाद करते हैं। कहा कि श्री राम मंदिर निर्माण हुआ तो परिवार के साथ सेवा में भाग लेंगे।

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