बड़े शातिर हैं ये इंजीनियर, पलभर में तोड़ देते थे बैंकों के ATM, लूट का हैरान करनेवाला तरीका
पंजाब के पठानकोट में दो ऐसे शातिर इंजीनियरों को पकड़ा गया जो बिना किसी हथियार के एटीएम को साफ्टवेयर की मदद से तोड़ देते थे।
पठानकोट, जेएनएन। यहां पुलिस ने ऐसे दो शातिर इंजीनियरों को पकड़ा है जाे बिना किसी हथियार के बैंकों के एटीएम को तोड़ देते थे और लाखों रुपये लूट लेते थे। वे साफ्टफेयर की मदद से एटीएम को तोड़ते थे। दोनों एटीएम के प्लेट को बाहर निकाल लेते थे और उसमें मौजूद रुपये निकाल लेते थे। इन लोगों ने 2015 से कई राज्यों में वारदात कर चुके हैं।
पुलिस के अनुसार, 2015 में दोनों ने राजस्थान से लेकर पंजाब तक कई बैंकों के एटीएम तोड़े। राजस्थान के कोटा में एटीएम को तोड़ कर 12 लाख रुपये की चोरी की थी। 2015 में ही दोनों गिरफ्तार कर लिए गए थे। पठानकोट के मीरथल में एक एटीएम तोडऩे के मामले में दोनों 2015 से ही भगोड़ा चल रहे थे।
2015 से दोनों चल रहे थे भगोड़े, राजस्थान के कोटा से प्रोडक्शन वारंट पर लाई पुलिस
अब चार साल बाद पठानकोट पुलिस दोनों को कोटा जेल से प्रोडक्शन वारंट पर लेकर आई। आरोपितों की पहचान बठिंडा निवासी रछपाल सिंह तथा भूपेंद्र सिंह के रूप में हुई है। दोनों युवकों ने चंडीगढ़ तथा पटियाला के नामी कॉलेजों से कंप्यूटर साइंस में इंजीनियरिंग की हुई है।
नशे की लत ने बनाया चोर, कोटा से लेकर पठानकोट तक तोड़ चुके हैं कई एटीएम
थाना नंगलभूर पुलिस के अनुसार दोनों युवक कंप्यूटर में मास्टर थे। 2014 में पढ़ाई के दौरान ही उनकी दोस्ती हुई। दोस्ती के बाद वह एक-दूसरे से मिलने लगे। धीरे-धीरे कुछ नशेड़ी युवकों के संपर्क में आने के कारण उन्हें भी नशे की लत लग गई। ऐसे में नशा पूर्ति के लिए दोनों ने एटीएम तोड़ना शुरू कर दिया।
पता चला है कि दोनों ने पहली बार 2015 में राजस्थान के कोटा में सॉफ्टवेयर की मदद से एक एटीएम को तोड़ डाला। दोनों ने बिना किसी औजार की मदद के एटीएम की प्लेट बाहर निकाल ली तथा एटीएम में पड़े 12 लाख रुपये उड़ा लिए। इसके बाद दोनों के पीछे पुलिस लग गई। पकड़े जाने के भय से दोनों पठानकोट व आसपास के क्षेत्रों में एटीएम तोड़ पैसे चुराने लगे।
2015 में दोनों ने पठानकोट के नजदीक मीरथल स्थित एक एटीएम को भी तोडऩे का प्रयास किया था। इस दौरान किसी व्यक्ति द्वारा देखे जाने पर वह मौके से फरार हो गए थे। तब पुलिस ने अज्ञात लोगों पर मामला दर्ज कर लिया था, जिसमें वे भगोड़े थे। पुलिस को अब पता चला कि दोनों कोटा जेल में बंद हैं, जिसके बाद पुलिस ने पठानकोट लाकर दोनों से पूछताछ की और कोर्ट में पेश करने के बाद सब जेल भेज दिया।