अब दाना मंडी के खोखों को लेकर भाजपा का निगम को अल्टीमेटम
मोगा भारतीय जनता पार्टी के जिला अध्यक्ष विनय शर्मा जिला उपाध्यक्ष एवं मोगा के प्रभारी सुनील गर्ग एडवोकेट ने निगम कमिश्नर को जल्द से जल्द पुराना दाना मंडी में जरूरतमंदों को खोखे व स्टॉल की जगह अलाट करने का अल्टीमेटम दिया है। साथ ही कहा है कि देरी किए जाने पर भाजपा इसके खिलाफ जन आंदोलन खड़ा करेगी।
जागरण संवाददाता, मोगा
भारतीय जनता पार्टी के जिला अध्यक्ष विनय शर्मा, जिला उपाध्यक्ष एवं मोगा के प्रभारी सुनील गर्ग एडवोकेट ने निगम कमिश्नर को जल्द से जल्द पुराना दाना मंडी में जरूरतमंदों को खोखे व स्टॉल की जगह अलाट करने का अल्टीमेटम दिया है। साथ ही कहा है कि देरी किए जाने पर भाजपा इसके खिलाफ जन आंदोलन खड़ा करेगी।
भाजपा नेताओं ने मांग की है कि कोरोना संकट के दौरान जब रोजगार का बड़ा संकट है। ऐसे में इस संकट को एक अवसर के रूप में बदलकर जल्द से जल्द वास्तविक लाभार्थियों को वेंडर्स पॉलिसी के तहत जगह अलॉट की जाए, ताकि वे अपना रोजगार शुरू कर सकें और संकट की इस घड़ी में परिवार का पालन ठीक से कर सकें। विनय शर्मा व गर्ग ने कहा कि वेंडर्स पॉलिसी व मंडी में खोखों के लिए जगह आवंटन में पारदर्शिता बरती जानी चाहिए, इसमें राजनीति नहीं होनी चाहिए। जो भी सूची तैयार हो उसे सार्वजनिक किया जाए। इस बारे में आपत्तियां मांगी जाएं, ताकि कोई भी गलत व्यक्ति खोखे के लिए जगह आवंटन का दुरुपयोग न कर सके।
भाजयुमो के जिलाध्यक्ष राहुल गर्ग, मंडल अध्यक्ष वरुण भल्ला, विक्की सितारा ने मांग की है कि पॉलिसी के तहत उन्हीं लोगों को जगह आवंटित की जानी चाहिए, जिनके पास वर्तमान में रोजगार को कोई दूसरा साधन नहीं है। भाजपा नेताओं ने कहा कि उनकी जानकारी में आया है कि कुछ बड़े लोग जिनके कारोबार पहले से ही चल रहे हैं, वे राजनीतिक दबाव बनाकर सूची में अपना नाम शामिल कर गरीबों को मिलने वाले रोजगार का स्थान खुद हड़़पने का प्रयास कर रहे हैं। अगर ऐसा हुआ तो भाजपा जिला अध्यक्ष विनय शर्मा के नेतृत्व में जनांदोलन शुरू किया जाएगा। इसके अतिरिक्त गरीबों व जरूरतमंदों को इंसाफ दिलाने के लिए सड़कों पर भी लड़़ाई लड़ेंगे व कानूनी लड़ाई भी लड़ेंगे। विधानसभा प्रभारी सुधीर मित्तल ने कहा कि जरूरत पड़ी तो जल्द भाजपा का प्रतिनिधिमंडल इस मामले में डीसी संदीप हंस व निगम कमिश्नर अनीता दर्शी से मुलाकात करेगा।
वहीं गर्ग ने कहा कि जिस समय खोखे ध्वस्त किए गए थे, उनमें से बहुत सारे लोग अब शहर से जा चुके हैं। बहुत से लोग दूसरे स्थान पर अपना कारोबार शुरू कर चुके हैं। ऐसे में स्वाभाविक रूप से पुरानी सूची के आधार पर आवंटन नीति नहीं, वास्तविक जरूरतमंदों की सूची तैयार कर जल्द से जल्द जगह आवंटित की जानी चाहिए।