पढ़ाई रहे जारी, सीटी यूनिवर्सिटी ने अपनाया ई-लर्निग सिस्टम
जगराओं कोरोना वायरस के प्रभाव से छात्रों को बचाने के लिए सभी स्कूल व कालेज बंद कर दिए गए है। ताकि विद्यार्थी सुरक्षित रहे। मगर पढ़ेगा इंडिया तभी बढ़ेगा इंडिया इस नारे को समर्थन देते हुए सीटी यूनिवर्सिटी लुधियाना विद्यार्थियों को आनलाइन माध्यम से शिक्षा उपलब्ध करवा रहा है।
जागरण संवाददाता, जगराओं
कोरोना वायरस के प्रभाव से छात्रों को बचाने के लिए स्कूल व कॉलेज बंद हैं, ताकि विद्यार्थी सुरक्षित रहें। मगर, पढ़ेगा इंडिया तभी बढ़ेगा इंडिया इस नारे का समर्थन करते हुए सीटी यूनिवर्सिटी लुधियाना विद्यार्थियों को ऑनलाइन शिक्षा उपलब्ध करवा रहा है।
ई-लर्निग विधि के तहत छात्रों को फैकल्टी सदस्यों द्वारा नियमित असाइनमेंट और सिलेबस से संबंधित सामग्री उपलब्ध करवाई जा रही है। ई-लर्निग को अपनाकर सीटी यूनिवर्सिटी ने पेपरलैस यूनिवर्सिटी बनने की तरफ एक नया कदम बढ़ाया है। इससे पहले यूनिवर्सिटी ने डिजिटल होकर केवल चार माह में ही ईआरपी समाधान को सफलतापूर्वक लागू किया है। ईआरपी एक ऐसी प्रक्रिया है जिसके माध्यम से कर्मचारियों की उपस्थिति, स्टाफ का अवकाश, ऑनलाइन एनाउंसमेंट, अधिसूचना व दो तरह के संदेश भेजना, छात्रों की मास बैंक रिपोर्टिग व पुस्तकालय प्रणाली में भी बदलाव किए गए हैं। इसके साथ ही विद्यार्थियों के गेट पास, ऑनलाइन गेट पास, हॉस्टल विद्यार्थियों के लिए डे आउट फार्म एवं इन पास प्रोग्राम, सभी शैक्षणिक स्तरों की योजनाएं उपलब्ध हैं।
सीटी यूनिवर्सिटी के ईआरपी के एसिस्टेंट डायरेक्टर राकेश प्लाहा ने पेपरलैस कैंपस के लक्ष्य को प्राप्त करने के बारे में बताया कि कि उनकी टीम ने और कार्यक्षमता के साथ नवीनतम एनईटी फ्रेमवर्क, एमवीसी, एंटिटी फ्रेमवर्क-6 का उपयोग किया है। बैक एंड डेटाबेस एसक्यूएल 2019 के लिए डाटा और उसकी पहुंच को सुरक्षित करने के लिए साल्ट एंक्रिप्शन, बेहतर मोबाइल कार्यक्षमता के लिए टोकन आधारित प्रमाणीकरण पूरी तरह उपलब्ध है। ईआरपी शुरू करने का मुख्य एजेंडा पर्यावरण को बचाना और पेपर के इस्तेमाल को कम करना था।
सीटी यूनिवर्सिटी के एमडी मनबीर सिंह और वाइस चांसलर डॉ. हर्ष सदावतर ने छात्रों की पढ़ाई के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना की।