साइलेंट किलर है हाइपरटेंशन, जीवनशैली में बदलाव से ही लाेग कर सकते हैं बचाव
इंटरवेशनल कार्डियोलॉजी विभाग के एडिशनल डायरेक्टर डॉ. संदीप चोपड़ा ने बताया हाइपरटेंशन (उच्च रक्तचाप) एक साइलेंट किलर है।
लुधियाना, जेएनएन। फोर्टिस अस्पताल में आयोजित जागरूकता कार्यक्रम के दौरान इंटरवेशनल कार्डियोलॉजी विभाग के एडिशनल डायरेक्टर डॉ. संदीप चोपड़ा ने बताया, हाइपरटेंशन (उच्च रक्तचाप) एक साइलेंट किलर है। हाई ब्लड प्रेशर से जुड़ी हुई यह बीमारी व्यक्ति को दिल का मरीज बना देती है। डॉ. चोपड़ा ने कहा कि हाइपरटेंशन दिल की नाडि़यों को तो प्रभावित करती ही है, साथ ही दिमाग में अटैक का कारण भी बन जाती है।
हाई ब्लड प्रेशर से एथेरोस्क्लेरोसिस हो सकता है। इस कारण दिल की तरफ खून ले जाने और वापस लाने वाली नाड़ियां कमजोर हो जाती है। खून का प्रेशर ज्यादा होने के कारण नाडि़यों की परतों पर जमी चिकनाई और अन्य पदार्थ टूट जाते हैं और यह हार्ट ब्लॉकेज का कारण बनते हैं। इससे व्यक्ति को हार्ट अटैक आ जाता है।
हाई ब्लड प्रेशर से उपजा तनाव ब्रेन स्ट्रॉक का कारण बन जाता है। 50 साल से अधिक उम्र के लोगों को नियमित तौर पर ब्लड प्रेशर चेक कराते रहना चाहिए क्योंकि उनके लिए हाइपरटेंशन की स्थिति काफी खतरनाक हो सकती है। मोटापे से परेशान और भोजन में अधिक नमक लेने वालों के लिए ब्लड प्रेशर का बढ़ना जानलेवा हो सकता है।
हाई बीपी के मरीज देश में सर्वाधिक
चोपड़ा ने बताया कि दुनियाभर के लोग हाई बीपी से परेशान हैं। जिन देशों में जागरूकता फैल चुकी है, वहां इसका प्रतिशत कम होता जा रहा है, लेकिन भारत जैसे विकासशील देश में यह खतरनाक तरीके से बढ़ रहा है। इसी कारण इसे साइलेंट किलर का नाम दिया है।
ब्लड प्रेशर के लगातार बढ़े रहने के कारण हार्ट व किडनी फेलियर और ब्रेन स्ट्रॉक के साथ-साथ शरीर के कई अंदरूनी अंग डैमेज हो सकते हैं। इस कारण लाइफ स्टाइल में बदलाव करके और ब्लड प्रेशर को नियंत्रण में रखकर इससे बचा जा सकता है।