Move to Jagran APP

पंजाबी सभ्याचार की झलक दिखा रहा पीएयू लुधियाना का Museum, पत्थरों पर प्रकृति को बचाने का संदेश

म्यूजिम में ऐसी कई अनोखी चीजें हैं जो अब धीरे धीरे ग्रामीण सभ्याचार से विलुप्त हो रही हैं। लेकिन इस म्यूजिम में इन सभी चीजों को संजोकर रखा गया है। यही नहीं म्यूजियम के कैंपस में रखे पत्थरों पर भी प्रकृति को बचाने का संदेश लिखा है।

By Vipin KumarEdited By: Published: Sun, 13 Dec 2020 10:34 AM (IST)Updated: Sun, 13 Dec 2020 10:34 AM (IST)
पंजाबी सभ्याचार की झलक दिखा रहा पीएयू लुधियाना का Museum, पत्थरों पर प्रकृति को बचाने का संदेश
पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी में गांवाें के दर्शन। (कुलदीप काला)

लुधियाना, [राजेश भट्ट]। अगर आप पंजाबी सभ्याचार और पंजाब के गांवों की संस्कृति के दर्शन करना चाहते हैं तो पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी लुधियाना (Punjab Agricultural University Ludhiana) आइए। पीएयू के अंदर एक म्यूजियम बना है जिसमें आपको पंजाब के गांवों की रसोई, आंगन, खेती से लेकर पहनावे तक हर चीज के दर्शन हो जाएंगे।

loksabha election banner

म्यूजिम ( Museum) में ऐसी कई अनोखी चीजें हैं जो अब धीरे-धीरे ग्रामीण सभ्याचार से विलुप्त हो रही हैं। लेकिन इस म्यूजिम में इन सभी चीजों को संजोकर रखा गया है। यही नहीं म्यूजियम के कैंपस में रखे पत्थरों पर भी प्रकृति को बचाने का संदेश लिखा है। पीएयू के कैंपस में म्यूजियम का नींव पत्थर 1971 में रखा गया था।

यह भी पढ़ें-लुधियाना में है अनोखी Love मीनार, वर्षों पुरानी मूर्ति में प्रेमी को खत लिखती दिखती है प्रेमिका

ग्रामीण सभ्यता के हिसाब से किया है डिजाइन

इस म्यूजियम की इमारत भी ग्रामीण सभ्यता के हिसाब से डिजाइन की गई है। म्यूजियम का मुख्यद्वार लकड़ी का बनाया गया है। जिस पर कई तरह की नक्कासी की गई है। इसी तरह म्यूजियम की खिड़कियां भी बेहतरीन डिजाइन के साथ तैयार की गई हैं। म्यूजियम के अंदर नायाब सिक्के, मूर्तियां, खेती में प्रयोग होने वाले औजार, पारंपरिक पहनावे, फुलकारी, मिट्टी के बर्तन,  चरखा, अनाज सुखाने रखने वाले वर्तन, मिट्टी के घड़े, लकड़ी बर्तन समेत तमाम चीजें रखी गई हैं। इसके अलावा म्युजियम के कैंपस में बग्गी, गन्ना पिरोने वाला बेलन, घराट, कुएं से पानी निकालने वाला रहट, बड़ी कढाई व अन्य दुर्लभ चीजें रखी गई हैं।

यह भी पढ़ें-Vegetables Price: किसान आंदोलन से पंजाब में गिरे सब्जियों के दाम, लुधियाना में गाेभी दाे रुपये किलाे

डा. एमएस रंधावा ने रखा था नींव पत्थर

पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी को डिजाइन करने वाले डा. एमएस रंधावा ने एक मार्च 1971 को इस म्यूजियम की नींव रखी थी जबकि इसका उद्घाटन 26 अप्रैल 1974 में खुशवंत सिंह ने किया। अगर आप इस यहां पहुंचना चाहते हैं तो आपको फिरोजपुर रोड से पीएयू गेट नंबर एक से एंट्री करनी होगी और थापर हाल के साथ बाएं मुड़ना होगा।

यह भी पढ़ें-चीन से तनाव ने ताेड़ी पंजाब की इंडस्ट्री की कमर, उद्यमी एक जनवरी से बढ़ाएंगे डाइंग के बीस फीसद दाम

इसके बाद पहले चौक से दाएं मुड़कर गर्ल्स होस्टल के कैंपस में जाना होगा और आखिरी कोने पर यह म्यूजियम बनाया गया है। म्यूजियम के अंदर जाने के लिए फीस रखी गई है ताकि फालतू लोग यहां न जाएं। इसे अलावा अब इस प्वाइंट लोग फोटो ग्राफी व वीडियो ग्राफी के लिए भी यूज करते हैं। इसके लिए पीएयू मे फीस जमा करवाकर परमिशन लेनी जरूरी है।

यह भी पढ़ें-पंजाब के कैबिनेट मंत्री आशु फिर विवाद में घिरे, High Court ने पीबीए के प्रधान चुनने पर लगाई रोक


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.