मना करने के बावजूद बनाई गली, कौंसिल ने रोकी पेमेंट
वार्ड आठ की गली को उखाड़ने पर कौंसिल ने ठेकेदार पर कार्रवाई की है।
जासं, खन्ना : शहर के ललहेड़ी रोड स्थित वार्ड आठ की अच्छी भली गली को उखाड़ कर नई टाइलें लगाने के मामले में नगर कौंसिल ने ठेकेदार पर कार्रवाई की है। गली के निर्माण का पर्दाफाश होने के बावजूद काम को जारी रखने वाले ठेकेदार मनीष कपिला की पेमेंट रोकने के आदेश नगर कौंसिल के प्रधान विकास मेहता ने वीरवार को दे दिए। मेहता ने इस संबंधी एक पत्र संबंधित अधिकारियों को जारी कर दिया है।
गौरतलब है कि आर्थिक तंगी के दौर से गुजर रही खन्ना नगर कौंसिल का यह नया कारनामा शनिवार को सामने आया था। यहां के ललहेड़ी रोड पर सही हालत में बनी गली को खोद कर ठेकेदार द्वारा दोबारा बनाने की तैयारी की जा रही थी। गली के खोदने की खबर मिलते ही लोक आवाज मंच के प्रधान तजिदर सिंह आर्टिस्ट मौके पर पहुंचे। संस्था ने इसकी शिकायत सोमवार को उच्चाधिकारियों से करने की बात कही।
मामले का पता चलने के बाद कौंसिल प्रधान विकास मेहता ने मौखिक रूप से ही ठेकेदार व संबंधित अधिकारियों को काम रोकने के निर्देश दिए। साथ ही उखाड़ी टाइलों को दोबारा लगाने को भी कहा गया, लेकिन तीन दिन काम बंद रखने के बाद ठेकेदार मनीष कपिला ने गली में नई टाइलें लगा दीं। इसकी जानकारी मिलते ही प्रधान मेहता ने म्यूनिसिपल इंजीनियर कुलविदर सिंह, सहायक म्यूनिसिपल इंजीनियर सुरिदर कुमार और दोनों जेई हरमेल सिंह व जसवंत सिंह को पत्र लिखा कि मनीष कपिला ने गलत तरीके से गली का निर्माण किया है जो सही हालत में थी। इसके लिए कपिला को पेमेंट नहीं की जाए। ऐसा करने पर अधिकारी निजी तौर पर जिम्मेदार होंगे। ठेकेदार का लाइसेंस रद हो : तजिंदर सिंह
समाज सेवक तजिदर सिंह आर्टिस्ट ने अब ठेकेदार मनीष कपिला का लाइसेंस रद करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि ठेकेदार ने कौंसिल के आदेशों को ठेंगा दिखाया है और उसे वित्तीय नुकसान पहुंचाने की कोशिश की है। वे उच्चाधिकारियों से इसकी शिकायत करेंगें। अगर जरूरत पड़ी तो ठेकेदार का लाइसेंस रद कराने के लिए हाईकोर्ट का दरवाजा भी खटखटाएंगे। पेमेंट रोकने के आदेश दे दिए हैं: विकास मेहता
खन्ना नगर कौंसिल प्रधान विकास मेहता ने कहा कि ठेकेदार द्वारा अच्छी भली टाइलों को उखाड़ कर नई टाइलें लगाई जा रही थी। उन्हें शनिवार को फोन पर ऐसा करने के लिए मना किया गया था, लेकिन उन्होंने आदेश नहीं माने और काम जारी रखा। इस कारण अधिकारियों को बाकी बचा काम रोकने के साथ ठेकेदार की संबंधित काम की पेमेंट रोकने के निर्देश दिए गए हैं।