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किसानों ने बठिंडा में नेशनल हाईवे किया जाम, सड़क पर फंसे वाहन, लोग परेशान

बठिंडा में धरने से लौट रहा एक किसान घायल हो गया था। घायल किसान के लिए इलाज के खर्च के लिए किसानों ने बठिंडा नेशनल हाईवे पर धरना दिया। कहा कि किसान की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है इसलिए उसकी सहायता की जाए।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Mon, 16 Nov 2020 04:00 PM (IST)Updated: Mon, 16 Nov 2020 04:00 PM (IST)
किसानों ने बठिंडा में नेशनल हाईवे किया जाम, सड़क पर फंसे वाहन, लोग परेशान
बठिंडा नेशनल हाईवे पर धरनेे पर बैठे किसान। जागरण

जेएनएन, बठिंडा। बठिंडा मेंं सड़क हादसे में 12 नवंबर को गांव चक्क राम सिंह वाला का युवा किसान शगनदीप सिंह जख्मी हो गया था। शगनदीप सिंह के इलाज के लिए किसानों ने तीसरे दिन सोमवार को भी बठिंडा-चंडीगढ़ नेशनल हाईवे पर जाम लगा दिया। शनिवार व रविवार की छुट्टी होने के कारण दो दिन तो धरने का ज्यादा असर नहीं दिखा, लेकिन सोमवार को जैसे ही जाम लगाया तो सारा ट्रैफिक अस्त व्यस्त हो गया। किसानों ने रोड पर तीन जगहों पर प्रदर्शन किया। किसानों के जाम के दौरान पुलिस मुलाजिम डीएसपी आसवंत सिंह की अगुआई में मौके पर तैनात रहे, जिन्होंने मौजूद किसान नेताओं के साथ बात कर जाम खुलवाने का प्रयास भी किया, मगर किसान अपनी बातों पर अड़े रहे।

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किसानों के जाम के कारण बठिंडा से चंडीगढ़ की तरफ जाने वाले या चंडीगढ़ से बठिंडा की तरफ आने वाले लोग अपने वाहनों को वापस लेकर जाते हुए नजर आए। यहां तक कि जो लोग धरने के बीच से होकर जाने की जिद करने लगे, उनकी किसानों के साथ खूब बहसबाजी हुई। इसके अलावा थाना कैंट के पास लगाए गए धरने के कारण अन्य शहरों से बठिंडा में आने वाली बसें भी पीछे ही रुक गई। इसके चलते बसों में सवार यात्रियों को एक किलोमीटर तक पैदल चलना पड़ा। तब कहीं जाकर उनको आटो मिला, जिसके बाद वह अपने अपने रास्तों को निकले।

जाम के कारण सबसे ज्यादा परेशानी तो बुजुर्ग लोगों को हुई, जिनके लिए अपना सामान उठाकर चलना भी मुश्किल हो रहा था। ऊपर से सोमवार को कैंट की कैंटीन भी खुली थी, जिस कारण यहां पर सैनिकों के अलावा पूर्व सैनिक भी अपने परिवारों के साथ खरीदारी करने के लिए आए। मगर जब वह वापस घरों को जाने लगे तो उनको भी किसानों ने जाने नहीं दिया। हालांकि कई सैनिकों ने कैंट में ड्यूटी होने का तर्क देकर जाने की फरियाद भी की, लेकिन किसानों ने उनकी एक नहीं सुनी।

किसानों ने बताया कि जख्मी शगनदीप सिंह के चेहरे पर प्लास्टिक सर्जरी होनी है, जिसके लिए काफी खर्च की जरूरत है, मगर उनकी प्रशासन एक नहीं सुन रहा। जिस कारण अब उनको संघर्ष तेज करने के लिए मजबूर होना पड़ा। किसान नेता होशियार सिंह ने बताया कि बठिंडा जिले के गांव चक्क राम सिंह वाला का शगनदीप सिंह वीरवार को गांव लहरा बेगा के टोल प्लाजा पर दिए जा रहे धरने से वापस अपने घर जा रहा था। इस दौरान रास्ते में एक मोटरसाइकिल की चपेट में आने से वह गंभीर जख्मी हो गया, जिसके बाद उसको अस्पताल में दाखिल करवाया गया। मगर वहां पर उसके इलाज का काफी खर्च बताया जा रहा है।

किसान शगनदीप के परिवार की आर्थिक हालत इतनी ठीक नहीं है कि वह उसका इलाज करवा सके। जिसके चलते अब उनके द्वारा प्रशासन से मांग की जा रही है कि युवक का इलाज करवाया जाए। मगर उनकी किसी भी बात को प्रशासन ने गंभीरता से नहीं लिया। जिसके चलते उनको दिवाली वाले दिन सड़क जाम करनी पड़ी। उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक उनके वर्कर का इलाज नहीं करवाया जाता, तब तक उनका धरना इसी प्रकार से जारी रहेगा।


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