चेंज ऑफ लैंड यूज के विरोध में भाजपा पार्षदों ने मेयर को सौंपा मांगपत्र, कारोबारियों को राहत देने की मांग
भाजपा ने चेतावनी दी कि यदि नगर निगम ने तानाशाही रवैया ना छोड़ा तो वह सड़कों पर उतरकर नगर निगम व पंजाब सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने के लिए विवश होंगे।
लुधियाना, जेएनएन। चेंज ऑफ लैंड यूज के विरोध में वीरवार काे शहर के भाजपा पार्षदों ने मेयर बलकार सिंह संधू को मांग पत्र सौंपा। जिला उपाध्यक्ष सुनील मोदगिल के नेतृत्व में मेयर हाउस पहुंचे। भाजपा पार्षदों ने मेयर से कारोबारियों को सीएलयू के नाम पर नाेटिस भेजने का मुद्दा उठाया।
भाजपा नेताअाें ने नोटिस बंद करवाने का अनुरोध किया। सुनील मोदगिल ने मेयर से कहा एक तरफ दुनिया भर की सरकारें कोरोना के चलते मंदी में चल रहे कारोबारियों को राहत देने की विभिन्न स्कीम लांच कर रहे हैं। वहीं नगर निगम लुधियाना कारोबारियों को कई टैक्स लगाकर परेशान करने में जुटी है।
अगर नगर निगम ने यह तानाशाही रवैया ना छोड़ा तो भाजपा सड़कों पर उतर नगर निगम व पंजाब सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने के लिए विवश होगी। गाैरतलब है कि अकाली-भाजपा गठबंधन सरकार ने अपने कार्यकाल के आखिरी दौर में सीएलयू व ईडीसी को लेकर 2014 की पॉलिसी को रिवाइज्ड किया था। इसे तब के मेयर हरचरण सिंह गोहलवड़िया ने निगम हाउस में पेश किया था।
क्या बदलाव हुआ था सीएलयू और ईडीसी के रेट में
2014 की पॉलिसी के अनुसार रेजिडेंशियल के लिए ईडीसी रेट 12 लाख रुपये प्रति एकड़ था जबकि नेशनल हाईवे पर सीएलयू फीस 4.50 लाख रुपये, स्टेट हाइवे पर 3.50 लाख रुपये और अन्य सड़कों पर 2.05 लाख रुपये था। इसे बढ़ाकर प्रति एकड़ 18 लाख, 6.75 लाख, 5.25 लाख और 2.25 लाख रुपये कर दिया गया। रेजिडेंशियल ग्रुप हाउसिग के लिए प्रति एकड़ ईडीसी 30 लाख से बढ़ाकर 45 लाख रुपये और सीएलयू चार्जेस 7.50 लाख से बढ़ाकर 11.25, छह लाख से नौ लाख और पांच लाख से 7.25 लाख कर दिया गया। वहीं कामर्शियल के लिए ईडीसी और सीएलयू चार्जेज में कमी कर दी गई थी।