बस्ती जोधेवाल फ्लाईओवर: डेडलाइन में बचे तीस दिन, अब तक सिर्फ 30 फीसद ही हुआ काम
जालंधर-पानीपत हाईवे के अंतर्गत आते बस्ती जोधेवाल के अधूरे फ्लाईओवर को पूरा करने की डेडलाइन में मात्र तीस दिन बाकी हैं।
लुधियाना, [राजेश शर्मा]। जालंधर-पानीपत हाईवे के अंतर्गत आते बस्ती जोधेवाल के अधूरे फ्लाईओवर को पूरा करने की डेडलाइन में मात्र तीस दिन बाकी हैं। जमीनी हकीकत की बात करें तो फ्लाईओवर का 70 प्रतिशत काम अभी लंबित है। आठ मार्च को लाडोवाल टोल प्लाजा पर सांसद रवनीत सिंह बिट्टू जब धरने पर बैठे थे तो नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड व कांट्रेक्टर कंपनी सोमा के अधिकारियों ने अधूरे निर्माण को तुरंत प्रभाव से शुरू करने व तीस जून तक इस प्रोजेक्ट को पूरा करने की डेडलाइन तय की थी। अब सवाल यह है कि अगर 82 दिन में 30 प्रतिशत ही काम हो पाया तो अगले 30 दिन में 70 प्रतिशत काम कैसे पूरा होगा।
एक ही मशीन कर रही काम
ऐसा भी नहीं है कि डेडलाइन पास आने के चलते कार्य गति बेहद तेज हो चुकी है। वीरवार को फ्लाईओवर की दोनों साइड तीन मशीनें ही दिखाई दी। इनमें से भी सिर्फ एक मशीन ही काम कर रही थी। साइट पर कोई मजदूर नहीं दिखा। कार्य गति देखकर लगता नहीं कि काम एक साल में भी पूरा हो पाएगा। दोनों तरफ उड़ रहे मिट्टी के गुबार वाहन चालकों की मुसीबतें बढ़ा रहे हैं।
बस्ती जोधेवाल फ्लाईओवर के निर्माण के चलते सर्विस लेन में धीरे-धीरे चलते वाहन।
अभी तक मिट्टी भी पूरी नहीं डाल पाए
कार्य के प्रति कांट्रेक्टर कंपनी की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि अभी तक दोनों साइड की मिट्टी भी पूरी नहीं डाली गई। समराला चौक से जालंधर बाईपास की तरफ जाने वाले वाली आधी साइड की स्लैब आठ फुट की ऊंचाई भी नहीं छू पाई। जालंधर बाईपास से समराला चौक वाली साइड की हालत तो इससे भी बुरी है। वहां तो अभी सड़क की खुदाई करने में ही डिच मशीन जुटी हुई है। मिट्टी इस साइड भी डाली गई है पर दूसरी साइड से बेहद कम।
सर्विस लेन में ट्रैफिक का बोझ, रेंग कर चलते हैं वाहन चालक
दोनों और की मुख्य सड़क तो एक महीना पहले ही बंद कर दी गई थी। दोनों तरफ के ट्रैफिक का भार सर्विस लेन पर डाला हुआ है। संकरी सी इस सर्विस लेन में ट्रैफिक रेंग-रेंग कर चलता है। रही-सही कसर फ्लाईओवर के लिए डाली गई मिट्टी सड़क की ओर आकर व धूल उड़कर पूरी कर देती है। चूंकि दिल्ली, अमृतसर, चंडीगढ़ की तरफ आने-जाने वाला सारा ट्रैफिक इसी मार्ग से गुजरता है। इसके चलते दिन भर ट्रैफिक का हाल बदहाल ही रहता है। इसके अलावा सड़क के दोनों तरफ सुभाष नगर, बस्ती जोधेवाल, ताजपुर रोड, टिब्बा रोड, कैलाश नगर, नूरवाला रोड जैसे भीड़भाड़ वाले इलाके हैं जहां पर सुबह शाम आने-जाने वालों का ट्रैफिक और बढ़ जाता है।
जालंधर-पानीपत हाईवे के अंतर्गत बस्ती जोधेवाल फ्लाईओवर के काम जुटी मशीनरी।
दस लोगों की जान जा चुकी, हर रोज होते हैं हादसे
अधूरे निर्माण के चलते कई एक्सीडेंट प्रोन जोन बन चुके हैं। इसमें कैलाश नगर चौक, बस्ती जोधेवाल चौक, बांबे टायर चौक पर आए दिन दुर्घटनाएं होती रहती हैं। पिछले एक साल में दस लोगों की जान भी इस अधूरे निर्माण के आसपास हादसों में जा चुकी है। दो युवाओं की मौत के बाद हिंदू सिख जाग्रति सेना ने आंदोलन भी चलाया पर न प्रशासन जागा, न की किसी ने कोई सुनवाई की। वीरवार को जालंधर बाईपास से आने वाली सर्विस लेन में तीन ट्रैफिक पुलिस कर्मी चालान काटने में लगे थे। जबकि उनके सामने ही ट्रैफिक जाम से वाहन चालक जूझ रहे थे।
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