Move to Jagran APP

Corona warriors: भारत के लिए गौरव के पल, यूके में आपदा के नायक बने सिख

Corona warriors भारत के यूके में रहने वाले 20 सिखों को महारानी एलिजाबेथ-2 के जन्मदिन के उपलक्ष्य में ब्रिटिश एम्पायर अवार्ड मिलेगा। इसमें 11 सिख पुरुष व नौ महिलाएंं हैं। इन्होंंने कोरोना काल में उल्लेखनीय काम किया है।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Tue, 13 Oct 2020 01:11 PM (IST)Updated: Tue, 13 Oct 2020 01:11 PM (IST)
Corona warriors: भारत के लिए गौरव के पल, यूके में आपदा के नायक बने सिख
यूके में सम्मानित होने वाले सिख। फाइल फोटो

जालंधर(सुमित मालिक)। Corona warriors: कोरोना ने पूरी दुनिया को गहरे जख्म दिए। यूके भी इससे अछूता नहीं रहा। यहां 42 हजार से ज्यादा लोगों की जान चली गई और हजारों अब भी इसकी चपेट में हैं। दुनिया के ताकतवर देशों में शुमार इंग्लैंड भी महामारी के सामने लाचार नजर आया। ऐसे में अपनी सेवा भावना के लिए जाने जाते सिख नायक बनकर उभरे।

loksabha election banner

यूके में बसे पंजाबी मूल के बीस सिखों ने सद्भावना व समानता की ऐसी मिसाल सामने रखी कि दुनिया कायल हो गई। महारानी एलिजाबेथ-2 के जन्मदिन पर इन सभी को ब्रिटिश एम्पायर अवार्ड दिया जाएगा। कुल 1495 लोगों की सूची जारी की गई है, जिनमें बीस पंजाबी सिख ही हैं।

कसरत की वीडियो बना 12 हजार पाउंड जुटाने वाले अमृतसर में जन्मे राजिंदर सिंह हरजाल व 110 दिन में 18000 हजार फूड पैकेट तैयार करने वाली रानी कौर भी इसमें शामिल हैं। इनके अलावा हजारों वर्चुअल प्रार्थनाएं करने वाले हरमोहिंदर भाटिया व सिख भाईचारे को नितनेम से जोड़े रखने के लिए संदीप सिंह के प्रयासों की चर्चा पूरे विश्व में हैं। यही नहीं नेशनल हेल्थ सिस्टम से जुड़े ऐसे वारियर्स की पहचान भी की गई जो बिना किसी भेदभाव के फ्रंटलाइन पर लड़े और हजारों लोगों की जान बचाई। पेश हैं इन महानायकों पर एक विशेष रिपोर्ट :-

1. राजिंदर सिंह हरजाल : स्किपिंग सिख के नाम से जाने जाते हैं। मूल रूप से अमृतसर के निवासी हैं। रस्सी कूदने व कसरत की वीडियो बना सोशल मीडिया पर डाली और कोरोना काल में जरूरतमंदों के लिए 12 हजार पाउंड का फंड जुटाया।

2. प्रो. यादविंदर सिंह मल्ही : आक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर। इको सिस्टम के लिए बढिय़ा काम करने के लिए चुना गया। इनकी शोध ने यह समझने में मदद की कि इस नाजुक परिस्थिति में क्या बदलाव हो रहे हैं।

3. मनजीत कौर गिल, एनजीओ बिंटी की फाउंडर :  विकासशील देशों में मासिक धर्म के समय महिलाओं की सुरक्षा के लिए काम किया और उनको सम्मान दिलाया।

4. रानी कौर, फूड असिस्टेंट: लाकडाउन में घर-घर भोजन पहुंचाने में मदद पहुंचाई। 200 लोगों का खाना रोज बना एंबुलेंस सेवा में लगे वालंटियर को दिया। बैडफोर्ड अस्पताल के लिए मास्क बनाए। 110 दिन में 18000 से अधिक खाने के पैकेट तैयार किए।

5. संदीप सिंह दलहेले: लॉकडाउन में गुरुद्वारा बंद होने पर अरदास के लिए ऑनलाइन पोर्टल चलाया, ताकि सिखों के नितनेम में किसी प्रकार की समस्या न आए। लोगों को गुरु व उनकी बाणी से जोड़कर रखा।

6. बलजीत कौर संधू: यूके की मानवाधिकार की वकील हैं। माइग्रेट व रिफ्यूजी बच्चों के अधिकारों के लिए काम कर रही हैं। समानता व सिविल सोसायटी के लिए उल्लेखनीय काम किया है।

7. हरमोहिंदर सिंह भाटिया: 75 साल के भाटिया ने लाकडाउन के दौरान एक दिन में तीन-तीन प्रार्थनाएं की। कोरोना से जान गंवाने वालों का जूम पर अंतिम संस्कार करवाया। वारियर्स के लिए हजारों वर्चुअल प्रार्थनाएं की।

8. सरबजीत कलेर: 44 वर्षीय फ्रंटलाइन डाक्टर सरबजीत कलेर ने वेस्ट मिडलैंड में सैकड़ों कोरोना मरीजों को ठीक किया। 21 साल के डाक्टरी पेशे में उनके इस समर्पण की सभी ने सराहना की।

9. कार्टर सिंह: कोरोना काल में लोगों की मानसिक सेहत का ख्याल रखने में अहम भूमिका निभाई। उन्हें महसूस नहीं होने दिया कि वे अकेले हैं।

10.डा. गुरप्रीत सिंह: साउथपोर्ट हास्पिटल के यूरोलाजी सर्जन रह चुके डाक्टर गुरप्रीत ने नेशनल हेल्थ सर्विसेज में समानता और विविधता को बढ़ावा दिया। कहते हैं एनएचएस को उस पूरे समुदाय का प्रतिनिधि होना चाहिए जो इसकी सेवा करता है।

11. परमिंदर कौर कौंडराल: 64 वर्षीय परमिंदर सिंह कौंडराल 2012 से सिखों के लिए धर्म प्रचारक के रूप में काम कर रही हैं। उनका ग्रुप सिख मरीजों की सेवा व अंग्रेजी भाषा में असहज लोगों की मदद करता है।

12. जतिंदर सिंह हरचोवाल : नामी फार्मासिस्ट जतिंदर सिंह हरचोवाल को कोविड-19 के दौर में फार्मास्युटिकल प्रोफेशन की सेवाओं के लिए चुना गया।

13. मनवीर कौर होथी: सोशल वर्कर मनवीर कौर होथी की टीम ने लाकडाउन में लोगों के पास जाकर जरूरत का सामान मांगा और एकत्रित कर उसे उन लोगों तक पहुंचाया जिन्हें सबसे ज्यादा जरूरत थी।

14 नीता अवनाश कौर: ब्रिटिश बिजनेस बैंक की डायरेक्टर नीता अवनाश कौर ने लघु व्यवसाय के लिए लोकल कम्यूनिटी को वित्तीय सेवाएं मुहैया करवा ऊपर उठने में मदद की।

15. डा. गुरजिंदर संधू : संक्रामक रोगों के माहिर डा. गुरजिंदर संधू के शोध ने कठिन समय से बाहर निकलने में हजारों लोगों की मदद की।

नान-कोविड

इनको भी मिलेगा सम्मान

16. हरमिंदर कौर चन्ना, आर्क बोल्टन अकादमी की प्रिंसिपल: शिक्षा के क्षेत्र में बढिय़ा सेवाओं व बदलाव लाने के लिए।

17. सरबजीत सिंह पुरेवाल, स्पेशलिस्ट प्रिंसिपल इंस्पेक्टर: सुरक्षा व साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में सेवा के लिए।

18. अमोलक सिंह धारीवाल, फाइनांस डायरेक्टर व बेम बिजनेस कम्यूनिटी में जाना-माना नाम: एशियन, ब्लैक व अल्पसंख्यकों की मदद के लिए हमेशा आगे रहे।

19. प्रबीर कौर जगपाल, फार्मा लेक्चरर: स्वास्थ्य में विविधता व समावेश की सेवाओं के लिए।

20. परमिंदर सिंह पुरेवाल, रेनफ्र्यू में आतिथ्य सेवाओं के लिए। 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.