Move to Jagran APP

मंडी में धान के लगे अंबार, लिफ्टिंग धीमी, किसान परेशान

जागरण संवाददाता होशियारपुर जिले में धान की खरीद शुरू हुए 16 दिन बीत चुके हैं। जिला हो

By JagranEdited By: Published: Fri, 16 Oct 2020 04:42 PM (IST)Updated: Sat, 17 Oct 2020 01:13 AM (IST)
मंडी में धान के लगे अंबार, लिफ्टिंग धीमी, किसान परेशान
मंडी में धान के लगे अंबार, लिफ्टिंग धीमी, किसान परेशान

जागरण संवाददाता, होशियारपुर

loksabha election banner

जिले में धान की खरीद शुरू हुए 16 दिन बीत चुके हैं। जिला होशियारपुर के बनाए गए सभी खरीद सेंटरों में धान की आमद चरम पर है। खरीद शुरू होने से पहले जो दावे किए गए थे उन दावों पर इस बार भी मंडी बोर्ड खरा नहीं उतर पा रहा। मंडी में किसान परेशान हो रहे हैं। मूलभूत सुविधाओं की कमी तो मंडी में है ही लेकिन सबसे बड़ी समस्या धीमी लिफ्टिग है। मंडी का अधिकतर परिसर धान से भरा हुआ है और अपनी फसल लेकर मंडी में पहुंचे किसानों को कई-कई घंटे मंडी में फसल उतारने में लग रहे हैं। यही नहीं कुछ किसान तो ऐसे हैं जिन्हें अपनी फसल उतारने के लिए अगले दिन का इंतजार करना पड़ रहा है।

कुछ किसानों का कहना है कि मंडी में जितने भी म्याइस्चर मीटर हैं उनकी रिडिग में भी फर्क है। कुछ में फसल की नमी 21 फीसद दिखाई देती है और उस फसल की कुछ अन्य मीटरों में नमी 18-19 फीसद शो करती है। जिस कारण उन्हें खासी परेशानी उठानी पड़ती है।

------------------ दो दिन से मंडी में हूं, नहीं बिकी फसल : गुरदीप सिंह गांव तरंगना से फसल लेकर पहुंचे किसान गुरदीप सिंह ने कहा कि वह दो दिन से मंडी में है। पहले तो फसल उतारने के लिए जगह ही नहीं मिली चूंकि धीमी लिफ्टिग के कारण फसल उतारने के लिए जगह ही नहीं थी परंतु जब फसल उतारी तो मंडी के अधिकारियों ने मीटर से चेक करके बताया कि फसल में नमी अधिक है उसे पहले सुखाना होगा फिर ही उसकी बोली लग पाएगी। जब एक आढ़ती ने अपने मीटर से नमी की जांच की तो वह सही निकली यानि जितनी नमी चाहिए उतनी है। जब उन्होंने आढ़ती के मीटर का हवाला दिया तो किसी ने नहीं माना और अब वह दो दिन से फसल सूखने का इंतजार कर रहा है।

------------------- पिछले दो दिन से मंडी में खा रहा हूं धक्के

तरंगना के ही किसान ईशर सिंह भी पिछले दो दिन से मंडी में इसी इंतजार में बैठे हुए हैं कि उन्हें फसल अनलोड करने के लिए मंडी में जगह मिल जाए। ईशर सिंह कहते हैं कि यह कोई नई बात नहीं है। हमें मंडी में परेशान होने की आदत हो गई है। मंडी में हालात ऐसे हैं कि किसानों के बैठने के लिए ठोस प्रबंध नहीं है। न पीने के पानी का कोई प्रबंध है। --------------- सफाई व्यवस्था की भी ढीली चाल लिफ्टिग के साथ-साथ मंडी में धान की फसल के साथ कचरे के बड़े-बड़े ढेर लगे हैं। मंडी परिसर का काफी बड़ा हिस्सा कचरे के घेर रखा है, यदि लिफ्टिग ढीली है तो कम से कम इस कचरे को ही हटाया जाए। जो सफाई मुलाजिम हैं वह टाईम पास करके हर रोज निकल जाते हैं।

--------------- अभी तक 35 से चालीस फीसद ही धान की लिफ्टिग हुई : रुपिंदर सिंह मंडी बोर्ड के अधिकारी रुपिदर सिंह ने माना कि लिफ्टिग की ढीली चाल सबसे बड़ी परेशानी है। मंडी में उनका काम सही ढंग से खरीद हो इसका प्रबंध करना होता है। लिफ्टिग तो वही करेगा जो धान खरीददार होगा। अभी तक 35 से चालीस फीसद ही धान की लिफ्टिग हो पाई है। एजेंसियां धान खरीद कर लिफ्टिग सही ढंग से नहीं कर रहीं जिस कारण यह समस्या आती है।

----------------------- अब तक 100502 मीट्रिक टन धान की आमद

जिला होशियारपुर में धान की आमद संबंधी 108 खरीद केंद्रों को स्थापित किया गया है। इन सभी केंद्रों में बुधवार तक कुल 100502 मीट्रिक टन धान की आमद हो चुकी है। जिला की मंडियों में कुल 4.41 लाख मीट्रिक टन धान की आमद की संभावना है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.