अवैध कब्जों से लोग परेशान, कैसे होगा समाधान
मेयर का ताज चाहे सिर पर है पर यह ताज कई टारगेट व जिम्मेदारियां भी मेयर सुरिदर कुमार छिदा के सामने लेकर आ गया है
जागरण संवाददाता, होशियारपुर :
मेयर का ताज चाहे सिर पर है पर यह ताज कई टारगेट व जिम्मेदारियां भी मेयर सुरिदर कुमार छिदा के सामने लेकर आ गया है। शहर की कुछ समस्याएं ऐसी हैं जो पिछले लंबे समय से ज्यों की त्यों बनी हुईं है और इस समस्या हल करना मेयर की लिए चुनौती है। चूंकि आज तक इन समस्याओं के हल केवल दावों तक ही सीमित रहे हैं। जिसमें सबसे बड़ी समस्या शहर में अवैध कब्जों की है। शहर में जिस रोड पर भी निकलें आप को अवैध कब्जे देखने को मिलेंगे। और सबसे बुरे हाल तो बस स्टैंड व सर्विस लेन पर मिलेगें। पहले रेहड़ियां लगाई गईं और बाद में पक्के खोखे लगा दिए गए। और आज तक निगम ने इन्हें हटाने की कोशिश तक नहीं की।
नगर निगम के आशीर्वाद से रेहड़ी वालों ने बस स्टैंड के द्वार को रेहड़ी मार्केट बना लिया है। बस स्टैंड के बाहर रोड कम और रेहड़ी मार्केट ज्यादा लगता है। सड़क किनारे बनाए गए स्थायी खोखे निगम की घटिया कार्यप्रणाली को उजागर कर देते हैं। हालांकि निगम अतिक्रमण को हटाने का दावा करता फिरता है, लेकिन जमीनी हकीकत आंखों के सामने है। आलीशान बस स्टैंड के बाहर अवैध रूप से बनाए गए खोखे परेशानी का सबब बने हुए हैं। इससे ट्रैफिक व्यवस्था पर बुरा असर पड़ता है। नगर निगम दावा करता है कि जल्द ही खोखों को हटाने की कार्रवाई शुरू हो जाएगी, लेकिन दावे कागजों तक सीमित रह जाते हैं। दरअसल, नगर निगम खुद ही इसके आड़ में अपनी 'दुकानदारी' चमका रहा है। बस स्टैंड के बाहर अतिक्रमण के नाम पर तहबाजारी की पर्ची काट कर स्थायी तौर पर खड़ी होने वाली दुकानों के पीछे नगर निगम की घटिया कार्यप्रणाली जिम्मेदार है।
तहबाजारी की पर्ची काट कर तैयार की गई स्थायी दुकानों व खोखों से निगम को आमदन नहीं होती है। सच्चाई यह है कि इसकी आड़ में निगम के कुछ मुलाजिम अपनी दुकानदारी जरूर चमका रहे हैं और इसका सारा खामियाजा जनता को जनता भुगतना पड़ रहा है।
रेहड़ियां खोखों में हो गई तबदील
बस स्टैंड के बाहर सड़क पर कुछ साल पहले रेहड़ियां लगती थीं। रेहड़ियां लगाने की एवज में उस समय की नगर परिषद रेहड़ियों से तहबाजारी की पर्ची काटने लगी थी। धीरे-धीरे यहां सड़क किनारे खोखे रखने शुरू कर दिए, लेकिन अधिकारी सख्त होने के बजाय अपना भी स्वार्थ पूरा करते रहे। नगर निगम अधिकारियों की मिलीभगत से स्वर्ण थियेटर की तरफ खोखों की भरमार होती गई और सिर्फ खानापूर्ति के लिए पर्ची काटी जाती रही तहबाजारी की। जबकि तहबाजारी की पर्ची काटी जाती है महज एक या दो फुट लिए, लेकिन यहां तो खोखे रख दिए गए हैं। और तो और नगर निगम के आशीर्वाद से बस स्टैंड के सामने भी एक-एक करके खोखे रखते गए। आलम यह रहा कि स्वार्थ बस अधिकारी मूकदर्शक बने रहे। यह अपने स्वार्थ में आशीर्वाद का ही नतीजा है कि तह बाजारी की आड़ में आज बस स्टैंड के इर्दगिर्द करीबन तीन दर्जन खोखे छोटी-छोटी दुकानों के रुप में अपना पैर जमा लिए हैं। नगर निगम को इनसे कोई आमदन नहीं हो रही है। बस, तहबाजारी के नाम पर सरकार की आंखों में धूल झोंका जा रहा है।
जल्द होगा समस्या का हल : मेयर
इस संबंध में मेयर सुरिदर सिंह छिदा ने कहा कि शहर की समस्याओं का हल प्राथमिकता के आधार पर किया जाएगा। अवैध कब्जों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी ताकि लोगों को परेशानी न हो।