पहली बार पांच लोगों ने मस्जिद में व अन्यों ने घर पर पढ़ी नामाज
एक साल पहले जिस जगह पर रमजान ईद के मौके पर भारी संख्या में लोग बार्डर रोड पर स्थित फैजान-ए-मदीना जामा मस्जिद में ईद उल फितर में गले मिलकर ईद की मुबारक दी। वहीं आज उसी जगह पर पांच लोगों ने नमाज अदा करके शारीरिक दूरी का पालन करते हुए दिल पर हाथ रखकर एक दूसरे को ईद की बधाई दी।
जागरण संवाददाता, फाजिल्का : एक साल पहले जिस जगह पर रमजान ईद के मौके पर भारी संख्या में लोग बार्डर रोड पर स्थित फैजान-ए-मदीना जामा मस्जिद में ईद उल फितर में गले मिलकर ईद की मुबारक दी। वहीं आज उसी जगह पर पांच लोगों ने नमाज अदा करके शारीरिक दूरी का पालन करते हुए दिल पर हाथ रखकर एक दूसरे को ईद की बधाई दी। ऐसा देश भर में फैले कोरोना वायरस के चलते उठाई जा रही सक्रियता के चलते हुआ। इस दौरान मुस्लिम समाज के लोगों ने घर में ही ईद की नमाज पढ़कर दुनिया से कोरोना के खात्मे की कामना की।
ओडांवाली बस्ती में स्थित फैजाने मदीना जामा मस्जिद में हर साल ईद का त्यौहार धूमधाम से मनाया जाता है। लेकिन इस बार प्रशासन द्वारा एक जगह पर ज्यादा लोग को एकत्रित होने की मनाही थी, जिसके चलते मस्जिद से जुड़े लोगों ने मुस्लिम समाज के लोगों को घरों से ही नमाज अदा करने के लिए कहा। सुरक्षा की दृष्टि से सुबह ही कुछ पुलिस कर्मी मस्जिद के बाहर तैनात किए गए। मस्जिद में नमाज अदा करने पहुंचे निजाम खान अशरीफ, आशिक लुधार, शहीद हबीबी, बरकत अली व हाजी मुस्सा ने बताया कि सुबह आठ बजे ईद पर नमाज अदा की गई, जिसके बाद विश्व शांति की कामना की गई। उन्होंने लोगों से अपील की कि वह कोरोना वायरस को दुनिया से खत्म करने के लिए लड़ी जा रही जंग में अपना सहयोग दें। उधर मस्जिद के अलावा घरों में ईद मनाने वाले आरीफ खान ने बताया कि इस समय देश कोरोना के संकट में है, इसलिए सभी का फर्ज है कि वह सरकार का सहयोग करें।