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मांगों को लेकर प्रदेश सरकार पर बरसे मनरेगा कर्मी

मनरेगा कर्मचारी यूनियन जिला फतेहगढ़ साहिब सरकार के साढे़ चार सालों की कारगुजारी की पोल खोल मुहिम शुरू की गई।

By JagranEdited By: Published: Sat, 31 Jul 2021 08:56 AM (IST)Updated: Sat, 31 Jul 2021 08:56 AM (IST)
मांगों को लेकर प्रदेश सरकार पर बरसे मनरेगा कर्मी
मांगों को लेकर प्रदेश सरकार पर बरसे मनरेगा कर्मी

संवाद सहयोगी, सरहिद :

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मनरेगा कर्मचारी यूनियन जिला फतेहगढ़ साहिब सरकार के साढे़ चार सालों की कारगुजारी की पोल खोल मुहिम शुरू की गई। जिसके पहले पड़ाव तहत बाबा बंदा सिंह बहादुर बस स्टैंड सरहिद में कर्मचारियों ने पंजाब सरकार खिलाफ प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी की। इस मौके जिला प्रधान मनदीप सिंह और परमिदर सिंह ने कहा कि पिछले वित्तीय वर्ष दौरान गांवों में 1600 करोड़ रुपये और चालू वित्तीय वर्ष दौरान अब तक 650 करोड़ रुपये मनरेगा तहत खर्च हुए है। मनरेगा मुलाजिमों ने गरीबी रेखा से नीचे रह रहे अठारह लाख परिवारों को रोजगार मुहैया करवाया है। पंजाब सरकार ने सत्ता में आने से पहले कच्चे मुलाजिमों को पक्का करने का वादा किया था, लेकिन अब तक इस वादे को पूरा नहीं किया। सरकार के इस वादे को पूरा करवाने के लिए पिछले 21 दिनों से मनरेगा कर्मचारियों की कलम छोड़ हड़ताल चल रही है, लेकिन सरकार द्वारा कोई सार नहीं ली गई। कर्मचारियों ने कहा कि यदि सरकार ने उनकी मांगों को नहीं माना तो संघर्ष को और तेज किया जाएगा। सोमवार को समूह विभाग के कर्मचारियों द्वारा जो ठेके पर काम करते हैं की ओर से कैबिनेट चरनजीत सिंह चन्नी के निवास का घेराव किया जाएगा। इस अवसर पर करनवीर सिंह, रविदर सिंह, परमिदर सिंह, सुखवीर सिंह, स्वर्ण सिंह, हरप्रीत कौर आदि उपस्थित थे। फोटो = 17-18 आशा वर्करों ने फव्वारा चौक पर पौना घंटा धरना देकर लगाया जाम

आशा वर्कर फेसिलीटेटर यूनियन द्वारा अपनी मांगें पूरी करवाने को लेकर फव्वारा चौक पर धरना लगाकर रोष प्रदर्शन कर नारेबाजी की। इस दौरान आशा वर्करों द्वारा फव्वारा चौक पर 45 मिनट तक जाम लगाया गया। इसकी वजह से चौक पर ट्रैफिक जाम जैसी स्थिति बन गई। इस दौरान आशा वर्करों ने सरकार के वायदों को झूठा बताते हुए घड़ा फोड़ा और खाली बर्तन बजाकर सरकार का विरोध किया। उन्होंने कहा कि यह सरकार को नींद से जगाने के लिए किया जा रहा है।

इससे पहले वर्करों ने यहां माता कौशल्या अस्पताल में एकत्रित होकर रोष प्रदर्शन किया। जिसके बाद अस्पताल से फव्वारा चौक तक रोष मार्च निकाला। इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों ने यूनियन सदस्यों से मांग पत्र लिया और वित्त मंत्री को भेजने का भरोसा दिया, जिसके बाद आशा वर्करों ने अपना धरना खत्म किया।


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