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पति को रास्ते से हटाने के लिए पत्नी ने दिए थे 75 हजार, साथ में प्लॉट का वादा

फाइनेंसर पर कातिलाना हमले के मामले में नया खुलासा हुआ है। उसकी पत्नी ने ही सुपारी देकर उस पर हमला करवाया था।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Sun, 05 Mar 2017 12:21 PM (IST)Updated: Sun, 05 Mar 2017 12:48 PM (IST)
पति को रास्ते से हटाने के लिए पत्नी ने दिए थे 75 हजार, साथ में प्लॉट का वादा
पति को रास्ते से हटाने के लिए पत्नी ने दिए थे 75 हजार, साथ में प्लॉट का वादा

जेएनएन, चंडीगढ़। फाइनेंसर करन सिंह उर्फ पहलवान पर कातिलाना हमला करने की योजना करीब 6 माह पहले उसकी पत्नी उषा ने हमलावरों के साथ मिलकर बनाई थी। वारदात को अंजाम देने के लिए उसने हमलावरों को 75 हजार रुपये दिए थे और काम करने के बाद उन्हें पानीपत में 200 गज का प्लॉट देने का भी वादा किया था।

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यह खुलासा डीएसपी साउथ दीपक यादव ने प्रेसवार्ता के दौरान किया। उन्होंने बताया कि वारदात को अंजाम देने से पहले हमलावर योजना के तहत बुडै़ल में करन के कार्यालय और घर के बारे में पूरी तरह से रेकी भी करके गए थे। पुलिस ने इस मामले की मास्टरमाइंड उषा सहित 5 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। इनमें से 2 ने करन को गोली मारी थी।

पुलिस ने आरोपियों को जिला अदालत में पेश किया, जहां सभी को मामले की जांच के तहत रिमांड पर लिया गया है। पुलिस की अब तक की जांच में सामने आया है कि आरोपियों ने वारदात को अंजाम देने के लिए दुनाली और देसी कट्टे मेरठ से खरीदे थे। पुलिस को अभी इस मामले में तीसरे हमलावर की तलाश है, जिसकी तलाश में छापामारी जारी है। थाना पुलिस, ऑपरेशन सेल और क्राइम ब्रांच की टीम ने मिलकर आरोपियों की धरपकड की है।

करन के दूसरी महिला से है संबंध

पुलिस जांच में सामने आया है कि करन के दूसरी महिला के साथ रहने के चलते उषा के साथ उसका मनमुटाव चल रहा था। इस बात को लेकर दोनों के बीच कई दफा झगड़ा भी हो चुका था। इसी बात से परेशान होकर महीनों पहले ही उषा ने उसकी हत्या करवाने की योजना बना ली थी। योजना के तहत ही उषा ने सोनीपत निवासी हिमांशु से संपर्क किया था। इस काम के लिए उषा ने हिमांशु और उसके अन्य साथियों सोनीपत निवासी संदीप और दिल्ली के रहने वाले वैभव के साथ मुलाकात की थी।

आरोपियों ने फाइनेंसर को मारी थी तीन गोलियां

योजना के तहत उसने हिमांशु और उसके साथियों को करन की हत्या करने के लिए 75 हजार रुपये नकद दिए थे, जबकि काम होने के बाद उन्हें एक प्लॉट देने का भी वादा किया था। आरोपियों ने फाइनेंसर को पैर, गर्दन और हाथ पर तीन गोलियां मारी थी। हालांकि फाइनेंसर बच गया था और उसने शक साथ रह रही महिला के परिजनों पर जताया था।

लगातार मास्टरमाइंड उषा के संपर्क में था हिमांशु

योजना को लेकर हिमांशु लगातार उषा के संपर्क में था और कुछ दिन पहले ही वे बुडै़ल में करन के कार्यालय और उसके घर के रास्ते की रेकी भी करके गए थे। हमलावर भलीभांति जानते थे कि वारदात को अंजाम देकर किस रास्ते से फरार होना है। उषा को पुलिस ने तीन दिन, रवि को दो, बलराम को एक दिन के रिमांड पर लिया है।

थ्रीव्हीलर में ही आए थे हत्या करने, उसी में भाग गए

आरोपियों से पूछताछ में सामने आया है कि हिमांशु और उसके साथियों ने यहां पहुंचने से पहले अपने जानकार जगतपुरा के रहने वाले बलराज और रवि कुमार को भी योजना में शामिल कर लिया था। वारदात वाले दिन 22/23 फरवरी के रात को वे इनके ऑटो में ही बुडै़ल पहुंचे थे और वारदात को अंजाम देने के बाद रवि के साथ ही ऑटो में बैठकर निकल गए थे।

रास्ते में खराब हो गया था ऑटो, फिर चढ़े बस में

सेक्टर-20 पंहुचने पर रवि का ऑटो खराब हो गया था, जिसके चलते तीनों हमलावार यही थ्रीव्हीलर से उतरे और बस में सवार होकर अपने अपने घर की तरफ निकल गए थे। पुलिस ने हिमांशु और वैभव को मेरठ से गिरफ्तार किया है। यहीं से ही दोनों ने हथियार खरीदे थे। हथियार कितने में खरीदे गए, यह जानकारी पुलिस ने नहीं थी। रिमांड लेने का मकसद हथियारों की बरामदगी करना है।

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