संक्रमण का डर, ऑफिस में घटेगा स्टाफ
कोरोना संक्रमण इतनी तेजी से बढ़ रहा है कि अब इसे रोकने के लिए फिर वही प्रयास होने लगे हैं जो पिछले साल किए गए थे। वर्कप्लेस पर साथ काम करने वाले इंप्लाइज इंफेक्शन की चपेट में आने लगे हैं।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ :
कोरोना संक्रमण इतनी तेजी से बढ़ रहा है कि अब इसे रोकने के लिए फिर वही प्रयास होने लगे हैं जो पिछले साल किए गए थे। वर्कप्लेस पर साथ काम करने वाले इंप्लाइज इंफेक्शन की चपेट में आने लगे हैं। इससे संक्रमण एक-एक कर पहले स्टाफ और फिर उनके जरिए घरों तक न पहुंचे। इसके लिए प्रशासन ने तैयारी शुरू कर दी है। वर्कप्लेस यानी ऑफिस में स्टाफ को कम बुलाने की तैयारी हो रही है। कोरोना से जुड़े ऑफिस में ही पूरी क्षमता के साथ स्टाफ आएगा। इसके बाद सेकेंडरी और थर्ड स्टेज पर रहने वाले ऑफिस में स्टाफ को कम किया जाएगा। इनमें 33 से 50 फीसद स्टाफ के साथ ही काम करना होगा। ऐसी गाइडलाइंस पर यूटी प्रशासन काम कर रहा है। शुक्रवार को इसके आदेश जारी हो सकते हैं। बता दें कि केंद्र सरकार ने कोरोना की चेन तोड़ने के लिए ऐसे आदेश राज्यों और यूटी को दिए हैं। जिसके आधार पर यह प्रावधान किया जा रहा है। प्रशासन का पर्सोनल डिपार्टमेंट स्टाफ को रोटेशन वाइज ऑफिस बुलाने की तैयारी कर रहा है। जिससे काम भी प्रभावित न हो और स्टाफ कम कर संक्रमण को फैलने से रोका जाए। ऑफिस सिटिग बदलेगी
स्टाफ कम करने के साथ ही ऑफिस सिटिग अरेंजमेंट भी अलग से होगा। इसमें कर्मचारियों के बीच ऑफिस में भी उचित दूरी रहे वह एक दूसरे के करीब होने से संपर्क में न आएं। ऐसी सिटिग प्लानिग होगी। पिछले साल ऑफिस में कई-कई केस आने पर पूरी की पूरी बिल्डिग को सील करना पड़ा था। यूटी सेक्रेटेरिएट, हाई कोर्ट तक को सील करना पड़ा था। सेनिटाइजेशन के बाद यह दोबारा शुरू हुए थे। इस बार ऐसा न हो इसको देखते हुए प्रशासन पहले ही स्टाफ कम कर बैठने की स्थिति बदल रहा है। जिससे किसी को संक्रमण हो भी तो उससे आगे यह दूसरों में ट्रांसफर न हो। आइटी कंपनियों ने शुरू किया वर्क फ्रॉम होम
आईटी पार्क में बहुत सी आईटी कंपनियों ने अपने स्टाफ को पहले ही वर्क फ्रॉम होम की मंजूरी दे दी है। बहुत से इंप्लाइज घरों से ही काम कर रहे हैं। कई कंपनी अब ऐसा करने की तैयारी में हैं। कंपनी अब इसे रेगुलर मानकर इंप्लाइज के घरों पर ही ऐसा सेटअप करने में सहयोग दे रही हैं जिससे वह वहीं से बेहतर कार्य कर सकें। कई कंपनियां इसके लिए इंप्लाइज को फंड तक दे रही हैं। जिससे वह घर में ही टेबल, लैपटॉप और बैठने की उचित व्यवस्था कर सकें।