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Judge Note Scandal : संजीव बंसल की पत्नी और ममेरा भाई बयानों से मुकरे, अगली सुनवाई 18 जनवरी को Chandigarh News

अदालत में शनिवार को जिन तीन लोगों की गवाही हुई उनमें रेणू के अलावा राजकुमार जिंदल (संजीव का ममेरा भाई) संतोष त्रिपाठी शामिल रहे।

By Vikas KumarEdited By: Published: Sun, 15 Dec 2019 08:56 AM (IST)Updated: Sun, 15 Dec 2019 01:57 PM (IST)
Judge Note Scandal : संजीव बंसल की पत्नी और ममेरा भाई बयानों से मुकरे, अगली सुनवाई 18 जनवरी को Chandigarh News
Judge Note Scandal : संजीव बंसल की पत्नी और ममेरा भाई बयानों से मुकरे, अगली सुनवाई 18 जनवरी को Chandigarh News

चंडीगढ़, जेएनएन। जज नोट कांड में शनिवार को सीबीआइ की स्पेशल अदालत में सुनवाई हुई। अदालत में मामले के एक आरोपित संजीव बंसल की पत्नी रेणू बंसल सहित तीन लोग अपने पहले दिए बयानों से मुकर गए। अदालत में शनिवार को जिन तीन लोगों की गवाही हुई उनमें रेणू के अलावा, राजकुमार जिंदल (संजीव का ममेरा भाई), संतोष त्रिपाठी शामिल रहे। अगली सुनवाई 18 जनवरी को होगी।

रेणू ने पहले कहा था
दो सितंबर 2008 को सीबीआइ को दिए पहले बयानों में रेणू ने कहा था कि 13 अगस्त को संजीव बंसल किसी केस के सिलसिले में दिल्ली गए हुए थे। शाम करीब साढ़े छह बजे संजीव का फोन आया और कहा कि 15 लाख रुपये मुंशी प्रकाश राम के हाथ जस्टिस निर्मल यादव के घर रात को साढ़े आठ बजे भिजवा दें और उन्हें कहे कि यह पैसे रङ्क्षवद्र ने भेजे हैं। इसके बाद एक पैकेट प्रकाश राम को दिया जो निर्मल यादव को देने के लिए चला गया। करीब नौ बजे संजीव को फोन किया तो उन्होंने बताया कि प्रकाश पैसे निर्मल यादव के घर की जगह निर्मलजीत कौर के घर पर दे आया है। लेकिन अब शनिवार को अदालत में कहा कि उसने सीबीआइ को ऐसा कोई बयान नहीं दिया था।

जिंदल ने यह कहा था
राजकुमार जिंदल ने पहले सीबीआइ को बयान दिए थे कि उन्हें इस केस के बारे में न्यूज पेपर में पढऩे के बाद जानकारी मिली थी जिसके बाद वह संजीव बंसल के घर गया था। वहां पर जाकर पता चला कि संजीव 13 अगस्त को दिल्ली गया था। वहां पर अपने दोस्त रङ्क्षवद्र से मिला और रङ्क्षवद्र ने उसे 15 लाख रुपये जस्टिस निर्मल यादव को देने के लिए दिए थे। लेकिन मुंशी ने यह पैसे गलती से जस्टिस निर्मलजीत कौर के घर पहुंचा दिए थे। वहीं, अब अदालत में अपनी गवाही में कहा कि उसने सीबीआइ को ऐसा कोई बयान नहीं दिया था। इसके अलावा अदालत में गवाही देने आए संतोष त्रिपाठी भी अपने पहले दिए बयानों से मुकर गए जिसके बाद तीनों को अदालत ने हॉस्टाइल कर दिया।

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