खेलों को प्रमोट करने के लिए पीयू और चंडीगढ़ प्रशासन एक साथ, तरासे जाएंगे इंटरनेशनल लेवल के खिलाड़ी
यूटी स्पोर्ट्स डिपार्टमेंट के मौजूदा समय में 10 के करीब स्पोर्ट्स कांप्लेक्स हैं। ऐसे में पीयू के इंटरनेशनल स्तर के खिलाड़ी इन स्पोर्ट्स कांप्लेक्स में प्रेक्टिस तो कर ही सकते हैं इसके साथ बतौर कोच भी अपनी सेवाएं इन स्पोर्ट्स कांप्लेक्सों में दे सकते हैं।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़। खेल व खिलाड़ियों को प्रमोट करने के मकसद से पंजाब यूनिवर्सिटी चंडीगढ़ व यूटी प्रशासन के बीच एक अहम बैठक हुई। इसी बैठक के बारे में जानकारी देते हुए पंजाब यूनिवर्सिटी के स्पोर्ट्स डायरेक्टर प्रशांत गौतम ने बताया कि पीयू चंडीगढ़ के पास काफी बड़ा स्पोर्ट्स इंफ्रास्ट्रक्चर है। इस इफ्रास्ट्रक्चर का ज्यादा से ज्यादा फायदा उठाया जाए, इसके लिए पंजाब यूनिर्सिटी और प्रशासन के बीच अहम बैठक हुई है। पीयू के ग्राउंड, हॉस्टल और स्टेडियम और सेक्टर 14 व सेक्टर - 25 स्थित कैंपस की स्वास्थ्य सेवाओं का भी बेहतर ढंग से इस्तेमाल किया जा सकता है।
इतना ही नहीं स्पोर्ट्स इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ डायरेक्टरेट आफ स्पोर्ट्स , पंजाब यूनिवर्सिटी और यूटी स्पोर्ट्स के बीच होने वाली अलग-अलग चैंपियनशिप में भी एक दूसरे के खिलाड़ी भी हिस्सा ले सकते हैं। इसके साथ कोचों में बदलाव करके भी खेल के स्तर को सुधारा जा सकता है। इसके लिए खासतौर पर एक ड्राफ्ट तैयार किया जा रहा है, जिससे इसकी भविष्य के लिए रूपरेखा तैयार की जा सकी।
अगर इस पर समझौता होता है तो न सिर्फ प्रशासन को फायदा होगा, बल्कि इससे पंजाब यूनिवर्सिटी को भी फायदा होगा। यूटी स्पोर्ट्स डिपार्टमेंट के मौजूदा समय में 10 के करीब स्पोर्ट्स कांप्लेक्स हैं। ऐसे में पीयू के इंटरनेशनल स्तर के खिलाड़ी इन स्पोर्ट्स कांप्लेक्स में प्रेक्टिस तो कर ही सकते हैं, इसके साथ बतौर कोच भी अपनी सेवाएं इन स्पोर्ट्स कांप्लेक्सों में दे सकते हैं। इसके साथ प्रशासन की सहायता से अपनी पढ़ाई पूरे करने वाले खिलाड़ियों को भी पीयू कॉलेजों में भी फायदा मिल सकता है।
अभी सुखना लेक स्पोर्ट्स सेंटर प्रशासन के पास है, वाटर स्पोर्ट्स से जुड़ी तमाम खेल गतिविधियां इसी सेंटर से चलती हैं। इसलिए हम चाहते हैं कि इस सेंटर में हमारी भागेदारी भी तय हो। इसके अलावा चंडीगढ़ खिलाड़ियों की ग्रेडिंग करता है, जबकि हरियाणा खिलाड़ियों की ग्रेडिंग नहीं करता है, जिससे खिलाड़ियों को खासी दिक्कत है। इस तरह के कई छोटे बड़े इश्यू है जिन्हें लेकर खिलाड़ियों को दिक्कत होती थी। अब हम चाहते हैं कि सभी मिलकर एक ऐसा सिस्टम बनाए जाए की खिलाड़ियों को इसका ज्यादा से ज्यादा फायदा मिल सके।
-प्रशांत गौतम, स्पोर्ट्स डायरेक्टर, पंजाब यूनिवर्सिटी