मेयर कालिया को अदालत से फिलहाल राहत नहीं
मेयर राजेश कालिया को राहत नहीं मिली।
जागरण संवाददाता, चंडीगढ़ : चेक बाउंस मामले में सोमवार को भी जिला अदालत की तरफ से मेयर राजेश कालिया को राहत नहीं मिली। राजेश ने अदालत द्वारा उनकी सैलरी अटैच करने के आदेश को वापस लेने के लिए अपील दायर की थी, जिसपर सोमवार को भी स्टे नहीं मिल पाई। राजेश कालिया ने जो अपील दायर की थी, उसके पूरे दस्तावेज विरोधी पक्ष के वकील हरीश छाबड़ा को नहीं दिए गए थे। अब हरीश छाबड़ा अपना जवाब अगली तारीख को अदालत में दर्ज कराएंगे। इसलिए राजेश कालिया की अपील पर स्टे मिलती है या नहीं, इसके बारे में अगली सुनवाई 19 मार्च को ही पता लगेगा। राजेश की वकील ने याचिका दायर की थी कि केस को मेन्यूप्लेट कर पेश किया गया है। इसलिए जब तक यह केस खत्म नहीं हो जाता, तब तक सैलरी अटैच करने के आदेश को वापस लिया जाए। दस लाख रुपये फ्रेंडली लोन लिया था
राजेश के खिलाफ जिला अदालत के ही वकील हरीश छाबड़ा ने वर्ष 2015 में सिविल केस दायर किया था। दायर केस में बताया था कि सितंबर 2013 में उन्होंने राजेश को 10 लाख रुपये फ्रेंडली लोन दिया था। इसके बदले में राजेश ने उसे चेक दिया था, जो बाउंस हो गया था। इसके लिए अदालत ने राजेश को 1 दिसबंर 2018 के लिए समन जारी किए थे। लेकिन राजेश इस बार भी पेश नहीं हुए। अदालत ने 5 दिसंबर, 2018 को राजेश को एक्स पार्टी करार देते हुए नगर निगम से जारी होने वाली उनकी सैलरी को अटैच करने के आदेश जारी किए थे।