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फाइव स्टार रेटिंग के लिए चंडीगढ़ की राह आसान नहीं

स्वच्छता सर्वेक्षण 2022 के लिए नगर निगम गारबेज फ्री सिटी में फाइव स्टार रेटिग के लिए आवेदन करने जा रहा है। सोमवार को सदन की मंजूरी लेने के बाद नगर निगम इसी सप्ताह पब्लिक नोटिस जारी कर शहरवासियों से आपत्तियां और सुझाव भी मांगेगे।

By JagranEdited By: Published: Tue, 25 Jan 2022 07:18 PM (IST)Updated: Tue, 25 Jan 2022 07:18 PM (IST)
फाइव स्टार रेटिंग के लिए चंडीगढ़ की राह आसान नहीं
फाइव स्टार रेटिंग के लिए चंडीगढ़ की राह आसान नहीं

राजेश ढल्ल, चंडीगढ़

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स्वच्छता सर्वेक्षण 2022 के लिए नगर निगम गारबेज फ्री सिटी में फाइव स्टार रेटिग के लिए आवेदन करने जा रहा है। सोमवार को सदन की मंजूरी लेने के बाद नगर निगम इसी सप्ताह पब्लिक नोटिस जारी कर शहरवासियों से आपत्तियां और सुझाव भी मांगेगे। इसके बाद केंद्र सरकार को आवेदन किया जाएगा। जबकि पिछले सर्वेक्षण में चंडीगढ़ को गारबेज फ्री सिटी में सिर्फ वन स्टार रेटिग ही मिली थी जबकि चंडीगढ़ नगर निगम ने पिछले साल भी फाइव स्टार के लिए ही आवेदन किया था, लेकिन केंद्र सरकार की ओर से जो टीम निरीक्षण के आई थी उसने नगर निगम के फाइव स्टार के तहत बताए गए दावों को खोखला पाया था। स्वच्छता सर्वेक्षण 2022 के लिए भी जल्द ही केंद्र सरकार की टीम चंडीगढ़ आने वाली है। इसके तहत ही चंडीगढ़ द्वारा कई काम किए जा रहे हैं। वन स्टार मिलने के कारण ही स्वच्छता सर्वेक्षण 2021 में चंडीगढ़ की रैंकिग 66 वें नंबर पर आई थी। स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 में चंडीगढ़ को गारबेज फ्री सिटी में थ्री स्टार रेटिग मिली थी, लेकिन एक साल में ही रेटिग वन स्टार पहुंच गई। नए सर्वेक्षण के लिए केंद्र सरकार की टीम ने सर्वे शुरू कर दिया है। यह सर्वे फरवरी माह तक जारी रहेगा। फाइव स्टार रेटिग मिलने पर ही चंडीगढ़ अगले सर्वेक्षण में टॉप-10 में आएगा।

7 स्टार की योग्यता रखता है चंडीगढ़

सेंवन स्टार रेटिग के लिए वह शहर के आवेदन कर सकता है जिसे वाटर प्लस का दर्जा मिला हो। चंडीगढ़ को यह स्टेट्स मिला हुआ है, लेकिन चंडीगढ़ सेंवन स्टार के लिए इसलिए आवेदन नहीं कर रहा। क्योंकि उन्हें पता है कि डंपिग ग्राउंड के कचरे का पहाड़ बना हुआ है। जबकि हर साल नंबर वन रहने वाला इंदौर शहर सेंवन स्टार के लिए आवेदन करता है और उन्हें केंद्र सरकार की ओर से ही सेंवन स्टार का दर्जा दिया जाता है। फाइव स्टार रेटिग के कुल अंक 1050 है। फाइव स्टार रेटिग में कुल 24 मापदंड है। जबकि वन स्टार में 400, थ्री स्टार में 600 और सेंवन स्टार में 1250 अंक सर्वेक्षण में मिलते हैं। सोमवार को सदन की बैठक में फाइव स्टार रेटिग के लिए आए हुए प्रस्ताव पर आप और कांग्रेस के पार्षदों ने सवाल उठाए थे। उनका कहना है कि था कि डिटेंल में प्रस्ताव नहीं लेकर आया गया है। फाइव स्टार रेटिग न मिलने के यह रहे कारण

- डड्डूमाजरा का डपिग ग्राउंड, जिसका कचरा खत्म नहीं कर पाए

- सूखा और गीला कचरे का सेग्रीगेशन सिस्टम शत प्रतिशत नहीं हुआ लागू

- शहर की सफाई के प्रति शहरवासियों ने ज्यादा अच्छी फीडबैक नहीं दी

- शहर के कचरे का वैज्ञानिक तरीके से निष्पादन न होना

- शहर से प्रतिदिन निकलने वाले 500 टन कचरे को प्रोसेस नहीं कर पा रहा है गारबेज प्लांट पिछले सर्वेक्षण के तहत भी चंडीगढ़ नगर निगम ने सेल्फ असेसमेंट के तहत फाइव स्टार रेटिग के लिए आवेदन किया था, लेकिन केंद्र सरकार की ओर से वन स्टार ही दिया गया। इसका मतलब है कि अधिकारियों ने जमीन पर ग्राउंड रिपोर्ट देखते हुए आवेदन नहीं किया। केंद्र सरकार ने पिछली रैंकिग में नगर निगम को बताया कि फाइव स्टार रेटिग न मिलने में क्या क्या खामी है। ऐसे में नगर निगम को यह रिपोर्ट को शहरवासियों को भी बताना चाहिए। जहां जहां पर खामी है उसे दूर किया जाना चाहिए।

- विनोद वशिष्ट, संयोजक, सिटी फोरम ऑफ रेजिडेंट्स वेलफेयर आर्गेनाइजेशन।

गारबेज फ्री सिटी के तहत नगर निगम फाइव स्टार रेटिग के लिए आवेदन करने जा रहा है। इसके लिए शहरवासियों से भी आपत्तियां मांगी जा रही है। अगले सर्वेक्षण में चंडीगढ़ की स्थिति में भारी सुधार आएगा। इसके लिए कई प्रभावी कदम उठाए जा रहे हैं। इसके अच्छे परिणाम मिलेंगे। शहरवासियों के सहयोग से सूखा और गीला कचरे का सेग्रीगेशन सिस्टम काफी अच्छा चल रहा है। स्वच्छता सर्वेक्षण के तहत अलग अलग मापदंड के तहत जो जो काम होने हैं उन्हें मजबूती से किया जा रहा है।

- आनिंदिता मित्रा, नगर निगम कमिश्नर।


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